Virbhadra Singh House Holy Lodge: जिस तरह हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) की राजनीति का जिक्र पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह (Virbhadra Singh) के बिना अधूरा है. वैसे ही वीरभद्र सिंह भी होली लॉज (Holy Lodge) के बिना अधूरे हैं. होली लॉज वीरभद्र सिंह का निजी आवास है. शिमला (Shimla) के रिज मैदान (Ridge Ground) से जाखू की चढ़ाई चढ़कर समर्थक होली लॉज पहुंचते थे, तो उनकी थकान वीरभद्र सिंह का चेहरा देखते ही दूर हो जाया करती थी.

 

होली लॉज लंबे समय तक कांग्रेस के पावर सेंटर के तौर पर देखा जाता रहा. वीरभद्र सिंह के निधन के बाद यह सवाल खड़ा हुआ कि क्या होली लॉज आने वाले वक्त में भी पावर सेंटर बना रहेगा या नहीं? वीरभद्र सिंह के निधन के बाद पहले प्रतिभा सिंह का सांसद के तौर पर चुनाव जीतना और उन्हें हिमाचल कांग्रेस का अध्यक्ष बनाया जाना, इस बात का सीधा संकेत था कि कांग्रेस का पावर सेंटर होली लॉज ही बना रहेगा. हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए मतदान प्रक्रिया खत्म होने के बाद कांग्रेस के बड़े नेताओं के साथ अफसरों की हाजिरी यह बता रही है कि होली लॉज आज भी पावर सेंटर बना हुआ है.

 

बड़े-बड़े नेता रिपोर्ट लेकर पहुंच रहे होली लॉज

हिमाचल प्रदेश विधानसभा चुनाव के बाद कांग्रेस-भाजपा में हार-जीत को लेकर मंथन जारी है. बूथ स्तर से अपनी रिपोर्ट हासिल करने के बाद कांग्रेस के बड़े नेता होली लॉज हिमाचल कांग्रेस अध्यक्ष प्रतिभा सिंह के पास रिपोर्ट लेकर पहुंच रहे हैं. हिमाचल कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कौल सिंह ठाकुर, रामलाल ठाकुर और अन्य कई बड़े नेता चुनाव के बाद प्रतिभा सिंह से मुलाकात कर चुके हैं. यही नहीं हिमाचल प्रदेश के कई बड़े अधिकारियों की भी हाजिरी भरने की खबर है.

 


 

प्रतिभा सिंह बन सकती हैं सीएम पद की दावेदार?

साल 2022 में हिमाचल प्रदेश में चुनावी हलचल तेज होते ही यह सवाल पूछा जाने लगा था कि क्या प्रतिभा सिंह कांग्रेस की मुख्यमंत्री की दावेदार हो सकती हैं? भले ही हिमाचल कांग्रेस ने किसी भी चेहरे को मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित न किया हो, लेकिन प्रतिभा सिंह का हिमाचल कांग्रेस के अध्यक्ष पद पर काबिज होने से कई बड़े संकेत मिले. उस समय कांग्रेस ने नए फॉर्मूले के तहत चुनाव न लड़ने वाले नेता को अध्यक्ष बनाने का फैसला लिया था, लेकिन बार-बार यह चर्चा सामने आ रही है कि अगर हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस को बहुमत मिलती है तो प्रतिभा सिंह मुख्यमंत्री हो सकती हैं.

 

मुझे नहीं किसी पद की लालसा: प्रतिभा सिंह

कांग्रेस को बहुमत मिलने की स्थिति में प्रतिभा सिंह को मुख्यमंत्री बनाए जाने की चर्चा जोरों पर है, तो समय-समय पर उनसे इस बारे में सवाल भी पूछे जाते रहे. प्रतिभा सिंह ने कई बार यह स्पष्ट किया है कि वे न तो सांसद का चुनाव लड़ना चाहती थीं और न ही हिमाचल कांग्रेस के अध्यक्ष बनना चाहती थीं. उन्हें आलाकमान ने जो जिम्मेदारी दी, उन्होंने केवल उसे निभाने का काम किया. मुख्यमंत्री बनाने का फैसला विधायक दल की इच्छा और आलाकमान की मोहर पर ही निर्भर करता है.

 

हिमाचल प्रदेश में बड़ा फैक्टर हैं वीरभद्र सिंह

हिमाचल प्रदेश की राजनीति में वीरभद्र सिंह हमेशा सही एक बड़े फैक्टर के तौर पर काम करते रहें. चार दशक तक प्रदेश के सक्रिय राजनीति में रहने वाले वीरभद्र सिंह का जीते जी तो प्रदेश की राजनीति में प्रभाव रहा ही, लेकिन उनके निधन के बाद भी वीरभद्र सिंह फैक्टर कम होता नजर नहीं आया. मंडी लोकसभा उपचुनाव में तो वीरभद्र सिंह के प्रति लोगों की भावनात्मक लहर साफ देखी गई. साल 2022 के विधानसभा चुनाव में भी कांग्रेस ने वीरभद्र विकास मॉडल पर चुनाव लड़ा. बिना वीरभद्र सिंह हिमाचल कांग्रेस के लिए इन चुनावों में उतरना बड़ी चुनौती रही. फिलहाल 12 नवंबर को हुए मतदान के बाद सभी को 8 दिसंबर को आने वाले नतीजों का इंतजार है. इन नतीजों के बाद स्पष्ट होगा कि प्रदेश में किस पार्टी को बहुमत मिल रहा है और कौन प्रदेश के मुखिया के तौर पर सचिवालय में जा रहा है.