Himachal Pradesh News: विश्व भर में हिमाचल प्रदेश की पहचान देवभूमि के रूप में है. यहां चप्पे-चप्पे पर देवी-देवताओं का वास है. यहां की पवित्र-पावन भूमि पर धार्मिक महत्व वाले त्योहार मनाए जाते हैं. हिमाचल प्रदेश के जिला कुल्लू (Kullu) में मंगलवार से इंटरनेशनल कुल्लू दशहरा (International Kullu Dussehra) की शुरुआत होगी. इसके लिए ढालपुर मैदान पूरी तरह तैयार हो चुका है.


दोपहर बाद भगवान श्री रघुनाथ का भव्य रथ सजकर तैयार हो जाएगा. इस दौरान हजारों अधिष्ठाता भगवान रघुनाथ का रथ खींचने की रसम अदा करेंगे. इस महाकुंभ में करीब 300 देवी-देवता जुटने ने की संभावना है. इसके लिए कमेटी की ओर से 305 देवी-देवताओं को निमंत्रण भेजा गया है.


कुल्लू में देव समागम देखने के लिए भक्तों की भारी भीड़


हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल शिव प्रताप शुक्ल शाम सात बजे कुल्लू दशहरा का शुभारंभ करेंगे, जबकि इसका समापन 30 अक्टूबर को होगा. समापन कार्यक्रम में हिमाचल के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू विशेष तौर पर पहुंचेंगे. अंतर्राष्ट्रीय कुल्लू दशहरा के लिए पूरा कुल्लू बाजार दुल्हन की तरह सज चुका है और यहां बड़ी संख्या में पर्यटकों का भी तांता लगा हुआ है.


कुल्लू दशहरा में देखने को मिलती हैं अनूठी तस्वीर


अंतर्राष्ट्रीय कुल्लू दशहरा में देव समागम भी देखने को मिलता है. रथ यात्रा के दौरान ऊंची घाटी हलान के देवता धूमल रथ खींचने के लिए वक्त भीड़ को नियंत्रित करते हैं और रास्ता बनाते हैं. इस दौरान ट्रैफिक व्यवस्था देवता पर ही निर्भर होती है. यह दिलचस्प तस्वीर अपने आप में बेहद अलग रहती है. खास बात है कि इतने सालों से दशहरे उत्सव का आयोजन हो रहा है. जहां हजारों की संख्या में लोग जुटते हैं, लेकिन कभी कोई दुर्घटना नहीं हुई. कुल्लू दशहरा उत्सव में सुरक्षा व्यवस्था बनाए रखने के लिए एक हजार पुलिस जवानों को तैनात किया गया है.


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