Himachal Loksabha Elections 2024: हिमाचल प्रदेश में सातवें और आखिरी चरण में लोकसभा के चुनाव होने हैं. मंडी संसदीय क्षेत्र में कांग्रेस प्रत्याशी विक्रमादित्य सिंह और भाजपा प्रत्याशी कंगना रनौत के बीच लगातार वार और पलटवार का सिलसिला जारी है. इस बीच नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने भी विक्रमादित्य सिंह के बयान पर पलटवार किया है. जयराम ठाकुर ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को विक्रमादित्य सिंह के मार्गदर्शन की जरूरत नहीं है. राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ न केवल देश में बल्कि दुनिया भर में अलग पहचान रखता है.
उन्होंने कहा कि विक्रमादित्य सिंह सिर्फ ध्यान भटकने के लिए ऐसी बातें कर रहे हैं. जयराम ठाकुर ने कहा कि वह प्रत्याशी होने के नाते स्वाभाविक तौर पर ऐसे मुद्दों की तलाश कर रहे हैं, जिससे उन्हें समर्थन मिले. जयराम ठाकुर ने कहा कि ऐसा कर विक्रमादित्य सिंह बहुत बड़ी गलती कर रहे हैं.
RSS से की थी हस्तक्षेप की मांग
शुक्रवार को विक्रमादित्य सिंह ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और विशेष तौर पर सर संघचालक मोहन भागवत से हस्तक्षेप की मांग उठाई थी. विक्रमादित्य सिंह ने कहा था कि हिमाचल प्रदेश में सनातन खतरे में है. ऐसे में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ को हस्तक्षेप कर हिमाचल में सनातन को बचाना चाहिए. विक्रमादित्य सिंह ने बिना नाम लिए कंगना रनौत पर निशाना साधते हुए कहा था की मंडी संसदीय क्षेत्र से भाजपा की प्रत्याशी इस तरह के खान-पान का समर्थन करती हैं, जिसके बारे में देवभूमि हिमाचल के लोग सोच भी नहीं सकते. उन्होंने यह भी कहा था कि पूरे मामले में भारतीय जनता पार्टी अपने मुंह पर टेप लगाकर बैठी है और ऐसे में राष्ट्र स्वयंसेवक संघ को इसमें हस्तक्षेप करने की जरूरत है.
विक्रमादित्य का है आरएसएस से पुराना नाता
विक्रमादित्य सिंह पहले भी राष्ट्र स्वयंसेवक संघ और विश्व हिंदू परिषद के साथ अपने परिवार का पुराना नाता बता चुके हैं. विक्रमादित्य सिंह ने अपने एक बयान में कहा था कि आरएसएस और विहिप के साथ उनके पुराने संबंध हैं. जब साल 2007 में तत्कालीन मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह ने धर्मांतरण के विरुद्ध कानून लाया था, तब विश्व हिंदू परिषद ने उनके पिता का विशेषतर पर आभार व्यक्त किया था.
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