Mandi Lok Sabha Elections 2024: हिमाचल प्रदेश में सातवें और आखिरी चरण में 1 जून को लोकसभा के चुनाव होने हैं. भारतीय जनता पार्टी ने मंडी संसदीय क्षेत्र से फिल्म अभिनेत्री कंगना रनौत को अपना प्रत्याशी बनाया है. कांग्रेस ने उनके सामने प्रदेश सरकार में लोक निर्माण मंत्री विक्रमादित्य सिंह को चुनावी रण में उतार दिया है. 


प्रदेश सरकार में मंत्री विक्रमादित्य सिंह के चुनावी रण में उतरने के बाद अब यह मुकाबला और भी ज्यादा दिलचस्प हो गया है. कंगना रनौत के चुनाव लड़ने की वजह से पहले ही मंडी संसदीय क्षेत्र पूरे देश में हॉट सीट के तौर पर देखी जा रही है.


क्या वोटों में भी परिवर्तित होगी भीड़?
फिल्म अभिनेत्री कंगना रनौत के चुनावी प्रचार में लोगों की भारी भीड़ नजर आ रही है, लेकिन ऐसे में सवाल यह है कि क्या यह भीड़ वोटों में परिवर्तित होगी या नहीं? पत्रकारिता में 55 साल का लंबा अनुभव रखने वाले प्रकाश चंद लोहमी मानते हैं कि फिल्म एक्टर या एक्ट्रेस होना चुनाव में फायदे देने वाला होता है.


वरिष्ठ पत्रकार प्रकाश चंद लोहमी के मुताबिक, चुनावी रण में फिल्म एक्टर का होना प्रत्याशी को कम से कम एक बार तो लाभ पहुंचा ही सकता है. चुनाव के दौरान फिल्मी एक्टरों के लिए लोगों की दीवानगी उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु में देखी जा चुकी है.


'कंगना रनौत की राह नहीं है आसान'
प्रकाश चंद लोहमी का मानना है कि फिल्म एक्ट्रेस होने के बावजूद कंगना रनौत के लिए सियासी सफर इतना आसान नहीं रहने वाला है, क्योंकि उनके सामने चुनाव लड़ रहे विक्रमादित्य सिंह भी धरती पुत्र हैं.


मंडी लोकसभा सीट का जिक्र करते हुए प्रकाश चंद लोहमी ने कहा कि विक्रमादित्य सिंह के परिवार का इस सीट पर खासा प्रभाव रहा है. ऐसे में कंगना रनौत के पास भले ही कुछ बढ़त हो, लेकिन यह मुकाबला कांटे की टक्कर का रहने वाला है.


जयराम ठाकुर के लिए अहम है कंगना की जीत
वरिष्ठ पत्रकार प्रकाश चंद लोहमी मानते हैं कि जहां एक और यह चुनाव कंगना रनौत और विक्रमादित्य सिंह के परिवार की प्रतिष्ठा का चुनाव है. तो वहीं, यह चुनाव जयराम ठाकुर के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है. 


बीजेपी को जयराम ठाकुर से है उम्मीद
जयराम ठाकुर को साल 2022 के विधानसभा चुनाव में जिला मंडी से जिस तरह के परिणाम मिले, उससे उनकी जिम्मेदारी लोकसभा चुनाव में और भी ज्यादा बढ़ गई है. विधानसभा की कामयाबी को देखते हुए बीजेपी को पूर्व सीएम जयराम ठाकुर से काफी उम्मीदें हैं.


पू्र्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने खुद को एक बड़े चेहरे के तौर पर स्थापित करने का काम किया. अब इस बड़े चेहरे का फायदा लोकसभा चुनाव में उठाना भी बेहद जरूरी हो गया है.


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