Shimla Nagar Nigam Election 2023: शिमला नगर निगम के लिए मतदान जारी, 34 वार्डों में 102 प्रत्याशी मैदान में
Shimla Nagar Nigam Election: कांग्रेस-बीजेपी के अलावा माकपा और आम आदमी पार्टी भी चुनाव लड़ रही हैं, लेकिन इस बार भी मुकाबला मुख्य विपक्षी दलों के बीच में ही रहने वाला है.
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नगर निगम शिमला के लिए मंगलवार को मतदान हैं. वोटिंग सुबह 8 बजे शुरू हो गई है. मतदान के लिए 34 वार्डों में 149 मतदान केंद्र स्थापित किए गए हैं. इसके लिए जिला प्रशासन की ओर से 153 मतदान दल की भी नियुक्ति की गई है. नगर निगम शिमला के 34 वार्डों में 93 हजार 920 मतदाता हिस्सा लेंगे. इनमें 49 हजार 759 पुरुष और 44 हजार 161 महिलाएं शामिल हैं. यह वोटर नगर निगम शिमला चुनाव में 102 प्रत्याशियों की किस्मत का फैसला ईवीएम में कैद कर देंगे. मतगणना 4 मई को सुबह 10 बजे शुरू होगी. नगर निगम शिमला चुनाव में मुख्य मुकाबला कांग्रेस-बीजेपी के बीच में ही है.
कांग्रेस-बीजेपी के बीच मुख्य मुकाबला
हालांकि कांग्रेस-बीजेपी के अलावा माकपा और आम आदमी पार्टी भी चुनाव लड़ रही हैं, लेकिन इस बार भी मुकाबला मुख्य विपक्षी दलों के बीच में ही रहने वाला है. चार महीने पहले हुए विधानसभा चुनाव में भी मुख्य मुकाबला कांग्रेस-बीजेपी के बीच में ही हुआ. माकपा और आम आदमी पार्टी का एक भी विधायक चुनकर विधानसभा नहीं पहुंच सका. नगर निगम शिमला चुनाव में जहां आम आदमी पार्टी ने अपने 21 प्रत्याशी मैदान में उतारे हैं. वहीं, माकपा सिर्फ चार ही वार्डों में अपने प्रत्याशी दे सकी है. छोटा शिमला वार्ड में तो आम आदमी पार्टी के प्रत्याशी सोमवार को चुनाव से एक दिन पहले कांग्रेस पार्टी में शामिल हो गए और उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी सुरेंद्र चौहान 'गुड्डू' को समर्थन देने का ऐलान कर दिया.
CM सुक्खू के लिए परीक्षा से कम नहीं हैं चुनाव
जहां एक तरफ कांग्रेस-बीजेपी के लिए यह साख की लड़ाई है. वहीं, दूसरी ओर माकपा और आम आदमी पार्टी के सामने तो अपनी जमानत बचाने की चुनौती है. चार महीने पहले ही हिमाचल प्रदेश में सत्ता परिवर्तन हुआ है. यह पहली बार है, जब मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व में कांग्रेस चुनाव लड़ रही है. ऐसे में यह चुनाव मुख्यमंत्री के लिए किसी अग्निपरीक्षा से कम नहीं है. नगर निगम शिमला का इलाका तीन विधानसभा क्षेत्र में फैला हुआ है. इन तीनों ही विधानसभा क्षेत्रों में कांग्रेस के विधायक जीते हैं. दो विधानसभाओं के विधायकों को तो सुक्खू मंत्रिमंडल में भी जगह मिली है. कसुम्पटी से विधायक अनिरुद्ध सिंह और शिमला ग्रामीण से विधायक विक्रमादित्य सिंह दोनों ही सुक्खू कैबिनेट के मंत्री हैं. इसके अलावा शिमला शहरी में हरीश जनारथा भी कांग्रेस के ही विधायक हैं. ऐसे में कांग्रेस पार्टी ने चुनाव जीतने के लिए अपना पूरा दम लगा दिया है.
बीजेपी पूरा करेगी मिशन रिपीट का अधूरा सपना
वहीं, दूसरी ओर भारतीय जनता पार्टी ने भी केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर, पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर, हिमाचल बीजेपी अध्यक्ष राजीव बिंदल, पूर्व शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज, राज्यसभा सांसद डॉ. सिकंदर कुमार के साथ पूर्व मंत्रियों अन्य पूर्व मंत्रियों और सिटिंग विधायकों की ड्यूटी लगाई है. बीजेपी ने विधानसभा चुनाव में अधूरे रहे मिशन रिपीट का सपना पूरा करने के लिए जान झोंकी है.
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