शिमला की सड़कों पर उतरे युवा, CM सुखविंदर सिंह सुक्खू पर लगाए वादाखिलाफी के आरोप, जानें क्या हैं मांगे?
Shimla Protest: शिमला की सड़कों पर सोमवार को शिक्षित बेरोजगार युवाओं ने प्रदर्शन किया. राज्य के युवा मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू की अगुवाई वाली कांग्रेस सरकार पर वादाखिलाफी का आरोप लगा रहे हैं.
Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश के युवा सड़कों पर उतर आए हैं. सुखविंदर सिंह सुक्खू सरकार की गेस्ट टीचर पॉलिसी के खिलाफ युवा शिमला की सड़कों पर उतरे. शिमला के डीसी ऑफिस में शिक्षित बेरोजगार संघ के बैनर तले बड़ी संख्या में छात्र और छात्राएं जुटे. इसके साथ ही उन्होंने हिमाचल प्रदेश में गेस्ट टीचर पॉलिसी का विरोध किया.
राज्य में आउटसोर्स आधार पर की जा रही भर्तियों और राज्य चयन आयोग के लंबे वक्त से निष्क्रिय होने पर भी अपना विरोध दर्ज करवाया. शिक्षित बेरोजगार संघ ने कहा कि कांग्रेस सरकार उनके साथ वादाखिलाफी कर रही है.
स्थाई रोजगार की मांग उठा रहे युवा
हिमाचल प्रदेश शिक्षित बेरोजगार संघ के अध्यक्ष बाल कृष्ण ठाकुर ने कहा कि सत्ता में आने से पहले कांग्रेस ने बड़े-बड़े वादे किए थे. अब सरकार युवाओं के साथ वादाखिलाफी कर रही है. जहां सरकार के कंधों पर युवाओं को रोजगार देने का की जिम्मेदारी है. वहीं दूसरी तरफ सरकार इस जिम्मेदारी से पीछे हट रही है.
युवा लाइब्रेरी में पढ़ाई करते-करते बुढ़ापे की तरफ जा रहे हैं, लेकिन उन्हें रोजगार नहीं मिल रहा. सत्ता में आने से पहले कांग्रेस ने जो वादा किया था, उसे सरकार में आने के बाद कांग्रेस को पूरा करना चाहिए. उन्होंने मांग उठाई है कि युवाओं के लिए स्थाई रोजगार दिया जाए.
CM सुखविंदर सिंह सुक्खू को काले झंडे दिखाने की चेतावनी
गौर हो कि बीते गुरुवार को सुखविंदर सिंह सुक्खू मंत्रिमंडल ने शिक्षा विभाग में किसी भी संस्थान में अल्पकालिक रिक्तियों की वजह से होने वाले अंतराल को भरने के लिए प्रति घंटा आधार पर गेस्ट टीचर की नियुक्ति को भी मंजूरी दी है. बाल कृष्ण ठाकुर ने कहा कि 19 दिसंबर को धर्मशाला में शिक्षक बेरोजगार संघ विधानसभा का घेराव करेगा. इसके बाद सचिवालय के घेराव की भी तैयारी है. जहां मुख्यमंत्री जाएंगे, वहां युवाओं उन्हें काले झंडे में दिखाएंगे. उन्होंने सरकार से मांग उठाई है कि जल्द से जल्द बेरोजगार युवाओं की मांगों को पूरा किया जाए और राज्य सरकार स्थाई भर्तियों पर ध्यान दे.
यह कैसा व्यवस्था परिवर्तन है?
हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय से डीसी ऑफिस में राज्य सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने पहुंचे कृष्ण प्रताप सिंगटा ने कहा कि राज्य सरकार युवाओं के साथ धोखा कर रही है. सिंगटा ने कहा कि युवा राज्य सरकार के खिलाफ नहीं हैं, लेकिन सरकार से उन्हें वह हासिल नहीं हो रहा है जिसकी वे लंबे समय से उम्मीद कर रहे हैं. कांग्रेस सरकार दावा कर रही है कि दो साल में 31 हजार युवाओं को रोजगार दिया गया है, जबकि यह वास्तविकता नहीं है.
उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश का युवा खेतों में भी काम कर कमा सकता है, लेकिन सरकारी रोजगार स्थायित्व और सुरक्षा देता है. राज्य सरकार इसके पक्ष में नजर नहीं आ रही है. ऐसे में भी सरकार से मांग कर रहे हैं कि युवाओं की मांगों को पूरा किया जाए. अन्यथा आने वाले वक्त में युवाओं को बड़े आंदोलन की और अग्रसर होना होगा.
क्या है युवाओं की मुख्य मांगें?
1. राज्य चयन आयोग में OMR से परिक्षाओं की बहाली.
2. गेस्ट टीचर पॉलिसी को वापस लो.
3. आउटसोर्स भर्तियों पर पूर्ण रोक.
4. साल 2022 में HPSSC के द्वारा विज्ञापित परिक्षाओं का जल्द से जल्द आयोजन.
5. नई भर्तियों की Requisition जल्द से जल्द राज्य चयन आयोग को भेजा जाए.
6. HPU द्वारा विज्ञापित Non-Teaching Posts को अति शीघ्र भरने की अनुमति.
7. लेक्चरर (कंप्यूटर साइंस) की भर्ती में पांच साल के टीचिंग अनुभव की शर्त को हटाओ.
इसे भी पढ़ें: 'युवाओं को धोखा देकर पाप कर रही सरकार', सीएम सुखविंदर सिंह सुक्खू पर क्यों भड़के जयराम ठाकुर?