HP News: कर्मचारी चयन आयोग (एसएससी) के मामले को विजिलेंस देख रहा है. इस मामले में जल्द ही तीन और एफआईआर दर्ज करने के लिए विजिलेंस को सरकार से मंजूरी लेना जरूरी है. सरकार की ओर से अनुमति मिलते ही जूनियर ऑफिस असिसटेंट (जेओए आईटी) पेपर लीक मामले में भी तीन और एफआईआर दर्ज कर ली जाएंगी. विजिलेंस को ये तीन एफआईआर जेओए आईटी 817, जेई सिविल और असिस्टेंट सुपरिटेंडेंट जेल की पोस्ट के सेलेक्शन के लिए परीक्षा में हुई गड़बड़ी पर दर्ज करने के लिए सरकार से अनुमति की जरूरत है.


अगर सरकार इन तीनों प्रतियोगी परीक्षाओं में जांच के निर्देश देती है, तो विजिलेंस इन तीनों मामलों में एफआईआर दर्ज कर सकेगी. अभी तक विजिलेंस की ओर से पेपर लीक मामले में दर्ज की गई एफआईआर से आयोग के सचिव के नाम सामने आया है. इस मामले में चल रही जांच से कई अहम साक्ष्य सामने आ रहे हैं. विजिलेंस की ओर से की गई अब तक की जांच में यह सामने आया है कि इन पोस्ट कोड की परीक्षाओं में पास होने वाले कई अभ्यर्थी आयोग के कर्मचारियों के रिश्तेदार ही हैं.


इन मामलों में हो चुकी है जांच


अब तक विजिलेंस ने स्टाफ सेलेक्शन कमीशन की पोस्ट कोड की कई अलग-अलग परीक्षाओं के जांच के मामले में 6 एफआईआर दर्ज की हैं. यह एफआईआर, एसएससी की जेओएआईटी पोस्ट कोड 965, पोस्ट कोड 962 सचिवालय लिपिक, पोस्ट कोड 939, जूनियर एडिटर, कम्प्यूटर ऑपरेटर और ड्राइंग मास्टर पोस्ट कोड 980 एवं ट्रैफिक इंस्पेक्टर पोस्ट कोड 819 की प्रतियोगी परीक्षाओं के संबंध में दर्ज की जा चुकी हैं. अब विजिलेंस को जेओए आईटी 817, जेई सिविल और असिस्टेंट सुपरिटेंडेंट जेल की नियुक्ति परीक्षा के मामले में एफआईआर दर्ज करने की अनुमति सरकार से लेनी है.


प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक मामले में विजिलेंस की ओर से अब तक आरोपियों के खिलाफ दो चार्जशीट दायर की जा चुकी हैं. अब बाकी मामलों में अनुमति मिलते ही विजिलेंस जांच शुरू कर देगी.


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