Himachal Pradesh News: हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली सरकार एक अधिसूचना जारी कर फंस गई है. जिसकी वजह से सोशल मीडिया पर सरकार को खूब ट्रोल किया गया और जमकर विरोध भी हुआ. विपक्ष को भी बैठे-बिठाये सरकार को घेरने का एक नया मौका मिल गया. दरअसल, 23 अक्टूबर को जारी हुई अधिसूचना में राज्य सरकार की ओर से कहा गया था कि सरकारी विभागों में दो या इससे ज्यादा साल से खाली पड़े पदों को खत्म कर दिया जाएगा.
वहीं इसपर मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि सोशल मीडिया पर प्रदेश सरकार के विभिन्न विभागों में कुछ पदों को खत्म किए जाने की सूचनाएं तथ्यों पर आधारित नहीं हैं. यह सूचना महज भ्रामक प्रचार हैं. सरकार के विभिन्न विभागों में ऐसे अनेक पद हैं, जिन पर कई सालों से कोई काम नहीं हो रहा है. मुख्यमंत्री ने दावा किया कि उन पदों का जरूरत के मुताबिक पदनाम बदला जा रहा है.
19 हजार से ज्यादा पदों को भरने जा रही सरकार
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि राज्य सरकार अलग-अलग विभागों में 2 हजार 511 पद सृजित किए गए हैं और 16 हजार 592 पद भरे जा रहे हैं. हिमाचल प्रदेश में कुल 19 हजार 103 पदों को भरने की प्रक्रिया चल रही है. मुख्यमंत्री ने बताया कि शिक्षा विभाग में 268, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग में 1 हजार 623, गृह विभाग में 442, जल शक्ति विभाग में 85, लोक निर्माण विभाग में 64 और राजस्व विभाग में 29 पद सृजित किए गए हैं. शिक्षा विभाग में 5 हजार 861, स्वास्थ्य विभाग में 1 हजार 056, गृह विभाग में 1 हजार 482, वन विभाग में 2 हजार 266, जल शक्ति विभाग 4 हजार 701, लोक निर्माण विभाग में 299 और राजस्व विभाग में 927 पद भरे जा रहे हैं.
बीजेपी पर भ्रामक प्रचार करने के आरोप
मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने स्पष्ट करते हुए कहा कि राज्य सरकार ने सिर्फ ऐसे पदों को खत्म करने के लिए कहा है, जिनकी अब जरूरत नहीं है. उदाहरण के तौर पर क्लर्क, टाइपिस्ट की जगह जेओए-आईटी के पद सृजित कर भरे जा रहे हैं. मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने कहा कि अब हिमाचल सरकार के अलग-अलग विभागों में जिन पदों की जरूरत नहीं है, उनका पदनाम बदल जाएगा. मुख्यमंत्री ने कहा कि बीजेपी भ्रामक प्रचार करने के लिए जानी जाती है. इस मुद्दे पर भी बीजेपी ने झूठ परोसने की कोशिश की है.
यह भी पढ़ें: 'इंडस्ट्रियल सेक्टर में 80 फीसदी हिमाचलियों को मिले रोजगार', उद्योग मंत्री हर्षवर्धन चौहान के सख्त निर्देश