Himachal News: हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश ने जमकर तबाही मचाई है. प्रदेश के कई जिलों में तो भारी नुकसान हुआ है. आम जन जीवन बुरी तरह अस्त-व्यस्त हो चुका है. भारी बारिश की वजह से ना केवल सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचा, बल्कि निजी संपत्ति भी तबाह हो गई है. इस बीच हिमाचल प्रदेश में हुए नुकसान का जायजा लेने के लिए केंद्र की टीमें हिमाचल आ रही है.


केंद्रीय टीम का दौरा बेहद अहम
केंद्र सरकार की ओर से तीन अलग-अलग टीमों को हिमाचल भेजा जा रहा है. मंगलवार यानी आज यह टीमें चंडीगढ़ होते हुए हिमाचल प्रदेश के तीन अलग-अलग स्थानों पर नुकसान का जायजा लेने पहुंचेंगी. केंद्र से आ रही टीम के साथ हिमाचल प्रदेश सरकार ने एचएसएस अधिकारी निशांत ठाकुर को केंद्र की टीम के साथ नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है. हिमाचल प्रदेश में हुए नुकसान का जायजा लेने पहुंची टीम केंद्र सरकार को रिपोर्ट सौंपेगी. इसके बाद संभव है कि हिमाचल प्रदेश सरकार को केंद्र की ओर से मदद मिल सके.


केंद्र सरकार से मदद की उम्मीद
हिमाचल प्रदेश पहले ही कर्ज के बोझ तले दबा हुआ है. पहाड़ी राज्य हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था पहले ही हिचकोले खा रही थी. आपदा ने तो प्रदेश की अर्थव्यवस्था को डिरेल ही कर दिया. केंद्रीय वित्त पोषण पर चलने वाले हिमाचल प्रदेश की नजरें केंद्र पर टिकी हुई हैं. ऐसे में केंद्र से आ रही इन टीमों का यह दौरा बेहद महत्वपूर्ण है. प्रदेश सरकार की कोशिश है कि केंद्र सरकार ज्यादा से ज्यादा नुकसान की भरपाई कर दें, ताकि इससे हिमाचल प्रदेश की अर्थव्यवस्था पर बोझ न पड़े. हालांकि यदि बीते कुछ सालों में हुए बड़े नुकसान पर नजर डाली जाए, तो केंद्र की ओर से कभी हिमाचल प्रदेश को उस तरह की मदद नहीं मिल सकी, जिसकी प्रदेश सरकार इच्छा लिए बैठी रहती थी.


अब तक के आंकड़े क्या कहते हैं?
हिमाचल प्रदेश में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के नेतृत्व वाली सरकार के पास मौजूदा वक्त में जो डाटा मौजूद है, उसके मुताबिक भारी बारिश की वजह से हिमाचल सरकार को 4635.58 करोड़ रुपए का नुकसान ही चुका है. प्रदेश सरकार अभी अलग-अलग हिस्सों में नुकसान का आकंलन कर रही है. आने वाले दिनों में ये नुकसान कई गुना अधिक बढ़ने की संभावना है. अब तक के आंकड़ों के मुताबिक, जल शक्ति विभाग को 1393.22.08 करोड़ रुपए, लोक निर्माण विभाग को 1429.77 करोड़ रुपए, बिजली विभाग को 1445.64 करोड़ रुपए, बागवानी विभाग को 75.27 करोड़ रुपए, शहरी विकास विभाग को 6.47 करोड़ रुपए का नुकसान हो चुका है.


अब तक 122 लोगों की गई जान
इसके अलावा भारी बारिश की वजह से अब तक 122 लोगों की जान जा चुकी है. प्रदेशभर में बारिश की वजह से 490 घर पूरी तरह तबाह हो गए, जबकि 4 हजार 146 को आंशिक रूप से नुकसान पहुंचा. बारिश के कारण 133 दुकानें और 1071 पशु घर तबाह हुए, जबकि 943 जानवरों को भी जान गवानी पड़ी. 24 जून से अब तक हिमाचल प्रदेश में 56 भूस्खलन और 43 अचानक बाढ़ आने की घटनाएं रिकॉर्ड की जा चुकी हैं. रविवार तक यह नुकसान 4414.95 करोड़ रुपए था. 24 घंटे में ही यह नुकसान 220.63 करोड़ रुपए बढ़ गया. इससे सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है कि आने वाले दिनों में प्रदेश का नुकसान और ज्यादा बढ़ेगा.


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