Amit Shah on Kashmir Name: कश्मीर के नाम को लेकर केंद्रीय मंत्री अमित शाह के बयान से सियासी हलचल तेज हो गई है. गुरुवार (2 जनवरी) को J&K and Ladakh Through the Ages पुस्तक के विमोचन कार्यक्रम में अमित शाह ने कहा था, 'ऐसा हो सकता है कि कश्मीर का नाम महर्षि कश्यप के नाम पर पड़ा हो, क्योंकि इसे कश्यप की भूमि के नाम से भी जाना जाता है.'


अमित शाह के इस बयान पर अब DPAP नेता सलमान निजामी की प्रतिक्रिया आई है. उन्होंने दावा किया है कि केंद्रीय मंत्री के इस बयान से जम्मू-कश्मीर के लोग हैरान और नाराज हैं. सलमान निजामी ने अमित शाह के बयान का एक क्लिप शेयर करते हुए लिखा, "अमित शाह ने यह कहा है कि ऐसा 'संभव' है कि कश्मीर का नाम कश्यप के नाम पर रखा गया हो. उन्होंने यह नहीं कहा कि कश्मीर का नाम कश्यप के नाम पर होना ही चाहिए." वहीं, सलमान निजामी ने कहा कि भ्रम पैदा न करें और गुमराह न हों. 






अमित शाह ने क्या कहा था?
दरअसल, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था इतिहासकारों ने कश्मीर का इतिहास पुस्तकों के जरिए बताने की कोशिश की. मेरी अपील है कि प्रमाण के आधार पर ही किताब लिखें. 150 साल का एक दौर था, जब इतिहास दिल्ली तक ही सीमित था. वह समय शासकों को खुश करने का था, यह समय इतिहास को मुक्त करने का है. मैं इतिहासकारों से अपील करता हूं कि वह हमारे हजारों साल पुराने इतिहास को तथ्यों के साथ लिखा करें. 


अनुच्छेद 370 का किया था जिक्र
इस दौरान जम्मू और कश्मीर में गृहमंत्री अमित शाह ने अनुच्छेद 370 और 35-ए का जिक्र करते हुए कहा कि इन्होंने कश्मीर को देश के बाकी हिस्सो से जोड़ने में बाधा डाली. आर्टिकल 370 हटने के बाद देश के बाकी हिस्सों के साथ-साथ कश्मीर का विकास शुरू हुआ. गृहमंत्री ने यह भी दावा किया कि आर्टिकल 370 ने कश्मीर घाटी में अलगाववाद की स्थिति पैदा की थी, जो बाद में आतंकवाद में तब्दील हो गई. 


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