Kashmir News : राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा ठंड की शिकार जम्मू-कश्मीर की राजनीति में गर्मी लाने के लिए प्रदेश में प्रवेश कर गई है. वैसे तमाम नेता जो बीजेपी को अपनी वर्तमान स्थिति के लिए जिम्मेदार मान रहे हैं, राहुल गांधी के भारत को जोड़ने में योगदान दे रहे हैं. इसी कड़ी में कुछ ही दिनों पहले जेल से बाहर आए शिवसेना (उद्धव गुट ) के नेता और राज्यसभा के सदस्य संजय राउत ने जम्मू-कश्मीर पहुंचकर राहुल गांधी की यात्रा में शिरकत की. अब जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती इस यात्रा में शामिल हो रही हैं.


बीजेपी के साथ लंबे समय तक सत्ता में रही शिवसेना


महाराष्ट्र में शिवसेना बीजेपी लंबे समय तक सत्ता में रह चुकी है. संजय राउत के नेता उद्धव ठाकरे ने बीजेपी से साथ चुनाव लड़कर पाला बदला और कांग्रेस के सहयोग से मुख्यमंत्री पद पाने में कामयाब रहे. ये अलग बात है कि शिवसेना टूट गई और बीजेपी के साथ एकनाथ शिंदे गुट ने महाराष्ट्र की सत्ता हासिल कर ली. जाहिर है उद्धव गुट के नेता सत्ता से बेदखल होने की सबसे बड़ी वजह बीजेपी को मानते हैं.


कभी बीजेपी के सहयोग से सीएम बनी थीं महबूबा मुफ्ती


जम्मू-कश्मीर में अक्सर पाकिस्तान और अलगाववादी नेताओं से सहानुभूति जताने वाली महबूबा मुफ्ती पर अलगाववादी नेताओं का समर्थन करने के आरोप लगते रहे हैं. जम्मू-कश्मीर की पहली महिला मुख्यमंत्री महबूबा बीजेपी के सहयोग से ही बनी थी. वर्ष 2016 से 2018 तक मुख्यमंत्री रहीं महबूबा को बीजेपी से तब कोई शिकायत नहीं थी, उसकी नीतियां अच्छी लगती थीं. पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी ( पीडीपी) की नेता महबूबा मुफ्ती को बीजेपी के लोग सबसे खराब लगते हैं.


भारत जोड़ो यात्रा में शामिल होंगी महबूबा


पांच दशकों तक जम्मू-कश्मीर में कांग्रेस के स्तंभ रहे, प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री गुलाम नबी आजाद के कांग्रेस से अलग होकर वापस अपने राज्य में  डेमोक्रेटिक आजाद पार्टी का गठन कर लेने के बाद बीजेपी की सहयोगी रह चुकीं पीपल्स डेमोक्रेटिक पार्टी की नेता महबूबा के लिए सत्ता की राह मुश्किल हो गई है. ऐसी स्थिति में महबूबा मुफ्ती को भी राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा रास आ रही है और वे इस यात्रा के समर्थन में कसीदे पढ़ रही हैं.


 महबूबा को बीजेपी का दाग धोने में मिलेगी मदद


अब गुलाम नबी आजाद ने जम्मू-कश्मीर को अपना बेस बना लिया है.  इससे राज्य में कांग्रेस की स्थिति बहुत कमजोर हो गई है. जाहिर है, जब बीजेपी महबूबा मुफ्ती के साथ वहां सरकार बना सकती है तो कांग्रेस से अलग होकर अपनी पार्टी बनाने वाले गुलाम नबी आजाद को जम्मू-कश्मीर में आगे बढ़ाना बीजेपी के लिए एक अच्छा विकल्प हो सकता है. हालांकि, आजाद की पार्टी को पिछले दिनों झटका लगा है और उनकी पार्टी के उपाध्यक्ष सहित करीब डेढ़ दर्जन लोग पार्टी छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो चुके हैं. राहुल गांधी की यात्रा में शामिल होने से महबूबा को बीजेपी विरोधियों का थोड़ा लाभ मिल सकता है. 


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