जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव की सुगबुगाहट तेज? EC के इस आदेश से मिले संकेत
Jammu Kashmir Assembly Elections: जम्मू-कश्मीर में विधासभा चुनाव को लेकर सुगबुगाहट तेज हो गई है क्योंकि जिस तरह की प्रक्रियाओं का पालन चुनाव आयोग कर रहा है वह इसके ही संकेत देता दिख रहा है.
Jammu Kashmir News: चुनाव आयोग ने जम्मू-कश्मीर (Jammu-Kashmir) प्रशासन से अपने गृह जिलों में तैनात अधिकारियों का ट्रांसफर करने कहा है और ऐसा करते हुए आयोग ने एकतरह से चुनाव (Elections) के संकेत दे दिए हैं. दरअसल, अधिकारियों का तबादला चुनाव से पहले की जाने वाली एक कवायद होती है. जिन राज्यों या केंद्र शासित प्रदेशों में चुनाव होने वाले होते हैं वहां चुनाव से जुड़े अधिकारियों को उनके गृह जिलों में या फिर उन स्थानों पर तैनात नहीं किया जाता है जहां वे लंबे समय से कार्यरत होते हैं.
पीटीआई की रिपोर्ट के मुताबिक, चुनाव आयोग ने ठीक इसी तरह के निर्देश महाराष्ट्र और झारखंड के मुख्य सचिवों को भी जारी किया है जिसमें कहा गया है कि हरियाणा विधानभा का कार्यकाल 3 नवंबर, झारखंड का 5 जनवरी और महाराष्ट्र का 26 नवंबर 2024 को समाप्त हो रहा है. इसके अलावा केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर की विधानसभा का चुनाव भी जल्द होने वाला है.
वोटर लिस्ट को अपडेट करने का दिया गया था निर्देश
यह एक सामान्य प्रक्रिया है जब चुनाव आयोग को लोकसभा और विधानसभा चुनावों से पहले अधिकारियों के ट्रांसफर को लेकर निर्देश जारी करना होता है और इस बार भी वैसा ही किया गया है. हाल ही में आयोग ने जम्मू-कश्मीर, हरियाणा, झारखंड और महाराष्ट्र में वोटर लिस्ट को अपडेट करने के आदेश दिए थे.
सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव का दिया था आदेश
जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 को निरस्त करने और इसे दो केंद्र शासित प्रदेश में विभाजित करने के बाद यहां पहली बार विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. जम्मू और कश्मीर में चुनावी प्रक्रिया आम तौर पर एक महीने तक चलती है. अब परिसीमन प्रक्रिया के बाद पीओके के लिए आवंटित सीटों को छोड़कर विधानसभा सीटों की संख्या 83 से बढ़करअब 90 हो गई है. पिछले दिसंबर में सुप्रीम कोर्ट ने निर्देश दिया था कि निर्वाचन आयोग 30 सितंबर 2024 से पहले जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव कराए.
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