Jammu Kashmir Lok Sabha Chunav 2024: निर्वाचन आयोग के मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने आगामी लोकसभा चुनावों की तैयारियों की समीक्षा के लिए बीते दिनों जम्मू कश्मीर का दौरा किया. अपने दौरे के दौरान राजीव कुमार विभिन्न हितधारकों राजनीतिक दलों, प्रशासन और पुलिस के प्रतिनिधि से मिले. इस दौरान उन्होंने बुधवार (13 मार्च) को कहा कि जम्मू-कश्मीर में आगामी संसदीय चुनावों में पहली बार मतदान करने वाले 3.4 लाख मतदाताओं सहित 86.9 लाख वोटर इस बात मतदान करेंगे.


राजीव कुमार ने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश में प्रति मतदान केंद्र पर औसतन 747 मतदाताओं के साथ 11,629 मतदान केंद्र स्थापित किए जाएंगे. यहां 77,290 मतदाता 85 वर्ष से अधिक आयु के हैं, जिनमें 2,886 मतदाता 100 वर्ष से अधिक के हैं. चुनाव तैयारियों की समीक्षा के लिए जम्मू-कश्मीर के तीन दिवसीय दौरे पहुंचे राजीव कुमार ने मतदाताओं और राजनीतिक दलों से लोकतंत्र के त्योहार में उत्साहपूर्वक भाग लेने का अनुरोध किया. 


86.9 लाख मतदाता डालेंगे वोट
मुख्य चुनाव आयुक्त ने कहा कि हम चुनाव तैयारियों की समीक्षा के लिए देश के विभिन्न हिस्सों का दौरा कर रहे हैं और यह हमारी आखिरी यात्रा थी. हमने विभिन्न राष्ट्रीय और क्षेत्रीय राजनीतिक दलों के नेताओं, कानून प्रवर्तन एजेंसियों, मुख्य सचिव और डीजीपी से मुलाकात की और विस्तृत विचार-विमर्श किया. सीईसी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में 44.34 लाख पुरुषों और 42.55 लाख महिलाओं सहित 86.9 लाख मतदाता रजिस्टर्ड हैं. इसमें 67,400 दिव्यांग वोटर और 158 ट्रांसजेंडर वोटर भी शामिल हैं.


52% मतदान केंद्रों में वेबकास्टिंग की सुविधा 
वहीं महिला मतदाताओं का चुनावी अनुपात 2019 में 945 से बढ़कर 2024 में 954 हो गया है. वहीं नई महिला मतदाता 1.35 लाख हैं. राजीव कुमार ने कहा कि कुल 11,629 मतदान केंद्रों में से 9,307 ग्रामीण क्षेत्रों में और 2,322 शहरी क्षेत्रों में स्थित हैं. जबकि 52 प्रतिशत मतदान केंद्रों (5814) में वेबकास्टिंग की सुविधा है और 267 मॉडल मतदान केंद्र होंगे. सीईसी ने कहा कि अंतर-राज्यीय और अंतरराष्ट्रीय सीमाओं पर कड़ी निगरानी के तहत कुल 47 अंतरराज्यीय जांच चौकियां और 385 आंतरिक पुलिस चौकियां स्थापित की जाएंगी. 


सुरक्षा व्यवस्था के होंगे कड़े इंतजाम
यहां अज्ञात उड़ानों पर नजर रखने के भी निर्देश दिए गए हैं. राजनीतिक दलों के साथ अपनी बैठक का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि समान अवसर देने और चुनाव प्रचार के लिए सुरक्षा प्रदान करने में कोई भेदभाव नहीं करने की मांग की गई है. कुमार ने कहा कि राजनीतिक दलों की मांगों और चिंताओं पर ध्यान दिया गया है और संबंधित अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए गए हैं, ताकि दोबारा ऐसी कोई शिकायत न आए.


उन्होंने कहा कि अधिकारियों से कहा गया है कि वह वरिष्ठ राजनीतिक नेताओं को उनकी खतरे की आशंका के अनुसार पर्याप्त सुरक्षा प्रदान करें, ताकि वह आगामी चुनावों के दौरान स्वतंत्र रूप से प्रचार कर सकें. अधिकारियों को अपने कर्तव्यों का पालन करने और बिना किसी भेदभाव के सभी पक्षों को समान अवसर सुनिश्चित करने में विफल रहने पर सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी गई.