Jammu-Kashmir: जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में शीतलहर का हमला तेज हो गया है. यहां पिछले 24 घंटों के दौरान ऊपरी इलाकों में भारी बर्फबारी के कारण पारा गिरा है. मंगलवार (15 नवंबर) को कश्मीर और लद्दाख में दिन और रात के तापमान में भारी गिरावट दर्ज की गई है. ऐसे में अब यहां स्थानीय लोगों के लिए परेशानी बढ़ गई है. समय से पहले पड़ने वाली इस ठंड के पीछे 'ग्लोबल वार्मिंग' को भी दोषी माना जा रहा है. आमतौर पर कश्मीर और लदाख में दिसंबर महीने में इतनी ठंड पड़ती है. 


मंगलवार रात लद्दाख का द्रास इलाका इस क्षेत्र का सबसे ठंडा इलाका रहा, जहां तापमान शून्य से 15 डिग्री नीचे दर्ज किया गया. लेह में न्यूनतम तापमान शून्य से 7.5 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया. श्रीनगर में आज सुबह न्यूनतम तापमान 4.5 डिग्री सेल्सियस, पहलगाम में शून्य से 3.4 डिग्री नीचे और गुलमर्ग में शून्य से 4.6 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया. आमतौर पर इस तरह के तापमान की रीडिंग दिसंबर के दूसरे और तीसरे हफ्ते में रिकॉर्ड होती है, जब सर्दी से सबसे ठंडे चालीस दिन पड़ने शुरू होते है, जिसे "चिल्ले-ए-कलान" कहा जाता है. 


शुष्क मौसम का पूर्वानुमान 


समय से पहले पड़ रही कड़ाके की ठंड के बीच मौसम विभाग अगले 24 घंटों के दौरान बारिश और हिमपात की भविष्यवाणी कर रहा है. इस अवधि के बाद शुष्क मौसम का पूर्वानुमान है. विशेषज्ञों के अनुसार इसका मतलब है कि इस क्षेत्र में अधिक ठंड पड़ेगी क्योंकि आसमान में बादल नहीं होंगे. इसके परिणामस्वरूप न केवल जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में दिन और रात दोनों ठंडे हो जाएंगे, बल्कि पूरे उत्तर भारत के मौसम पर भी असर पड़ेगा. 


शुरुआती सर्दियों का असर 


अक्टूबर और नवंबर में भारी बर्फबारी के साथ अनिश्चित और शुरुआती सर्दियों का असर जम्मू-कश्मीर और लद्दाख में भी दिखना शुरू हो गया है. पूरे क्षेत्र में अधिकतम तापमान में भारी गिरावट दर्ज की गई है. पिछले 24 घंटो में दिन के तापमान में 13 डिग्री सेल्सियस की गिरावट के साथ, कुपवाड़ा में सोमवार को अधिकतम तापमान 4.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो सामान्य रूप से वर्ष के इस समय के लिए 16 डिग्री सेल्सियस है. 


तापमान में गिरावट दर्ज 


श्रीनगर में, दिन के तापमान में 8 डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई, जबकि गुलमर्ग में दिन के तापमान में 9 डिग्री की गिरावट दर्ज की गई और यह 0 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. इस ठंड का असर पहाड़ों के साथ-साथ मैदानी श्रेत्रो में भी पड़ने लगा है. जम्मू क्षेत्र में, भद्रवाह में अधिकतम तापमान 6.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो साल के इस समय के सामान्य दिन के तापमान 20.8 डिग्री सेल्सियस से 14 डिग्री सेल्सियस कम है. इसी तरह जम्मू शहर में दिन के तापमान में 7 डिग्री सेल्सियस, बनिहाल में 13.4 डिग्री सेल्सियस, बटोटे में 12.2 डिग्री सेल्सियस और पंजाब की सीमा से लगे कठुआ में 9.7 डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई. 


बढ़ी लोगों की मुश्किलें


समय से पहले पड़ी बर्फ और ने स्थानीय लोगों की समस्याएं बढ़ा दी हैं. आमतौर पर यहां दिसंबर के मध्य में सड़कें बंद होती हैं, लेकिन इस बार पहले ही यहां सकड़ें बंद होने के कारण आवश्यक वस्तुओं की कमी हो गई है. सीमावर्ती इलाकों में रहने वाले लोगों को अभी से अगले चार से पांच महीनों के लिए राशन स्टोर करना पड़ रहा है. मौसम विभाग का पूर्वानुमान है कि जम्मू कश्मीर और लद्दाख में इस बदले मौसम से पूरे उत्तर भारत में कड़ाके की ठंड बढ़ने की पूरी संभावना है. 


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