(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
Ranchi: केंद्र के अध्यादेश के खिलाफ CM केजरीवाल ने मांगा समर्थन, मुख्यमंत्री सोरेन बोले- 'मैं चाहूंगा कि इस...'
Arvind Kejriwal Meets Hemant Soren: केंद्र द्वारा लाए गए अध्यादेश के खिलाफ सीएम केजरीवाल लगातार विपक्ष के नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं. इस मसले पर उन्होंने सीएम हेमंत सोरेन का समर्थन मांगा.
Jharkhand News: दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने आज यानी शुक्रवार को झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मुलाकात की. बता दें कि दिल्ली सरकार की शक्तियों को कम करने के लिए केंद्र द्वारा लाए गए अध्यादेश के खिलाफ विपक्ष को एकजुट करने के लिए अरविंद केजरीवाल लगातार विपक्ष के नेताओं से मुलाकात कर रहे हैं और इस मसले पर उनका समर्थन मांग रहे हैं. दोनों नेताओं के बीच हुई मुलाकात के बाद झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि केंद्र का अनेकता में एकता पर भी कड़ा प्रहार है, संघीय ढ़ाचे की बात केंद्र सरकार करती थी, लेकिन उसके कार्य बिलकुल ही उसके विपरित हैं.
सीएम हेमंत सोरेन ने कहा कि चुनी हुई सरकार को जिस तरह से अधिकार विहीन किया जा रहा है, यह एक नई परंपरा की शुरूआत हो रही है. देश की अनेकता में एकता पर एक बड़ा प्रहार है. केंद्र सरकार संघीय ढांचे की बात करती है, लेकिन कार्य उसके विपरीत करती है. जिन राज्यों में केंद्र की सहयोगी सरकार नहीं है, उन राज्यों के साथ ऐसा ही व्यवहार हो रहा है.
सोरेन ने देश की नई संसद के उद्घाटन का जिक्र करते हुए कहा कि उस दिन लोकतंत्र के मंदिर से कुछ दूरी पर कई और दुर्भाग्यपूर्ण घटनाएं घटीं. यह सिर्फ गैर भाजपा सरकारों पर प्रहार नहीं है, बल्कि देश की जनता के ऊपर प्रहार है. इस विषय को लेकर हम और गहराई से पार्टी के अंदर चर्चा करेंगे. सोरेन ने कहा कि बाबासाहेब के द्वारा स्थापित जो लोकतंत्र है उसे बचाने की आवश्यकता है. दिल्ली के अंदर बिहार, झारखंड, यूपी, महाराष्ट्र समेत पूरे देश के लोग हैं और यह निर्णय पूरे देश पर असर डालेगा. दिल्ली में जो कानून थोपने का प्रयास हो रहा है, उसपर राजनीतिक लड़ाई जरूरी है और जो कदम केजरीवाल ने बढ़ाया है, मैं चाहूंगा कि इस मुहिम में सफल हों.
'सभी पार्टियां एक हो जाएं तो यह अध्यादेश कानून नहीं बन पाएगा'
वहीं, सोरेन से मुलाकात के बात मीडिया से मुखाबित हुए दिल्ली सीएम केजरीवाल ने कहा कि इस अध्यादेश को मानसून सत्र में संसद में पेश किया जाएगा. उन्होंने कहा बीजेपी के पास लोकसभा में बहुमत है लेकिन राज्य सभा में वह अल्पमत में है, इसलिए यदि गैर बीजेपी पार्टियां एक हो जाएं तो यह अध्यादेश कानून नहीं बन पाएगा. उन्होंने कहा कि यह केवल दिल्ली की बात नहीं बल्कि पूरे देश के संघीय ढांचे की बात है.
विपक्षी दलों से समर्थन मांग रहे केजरीवाल
दिल्ली सीएम केजरीवाल ने कहा कि हम इस अध्यादेश के खिलाफ पूरे देश में जा रहे हैं और सभी दलों की ओर से हमें अच्छा समर्थन मिल रहा है. हमारा समर्थन करने के लिए मैं यहां मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का धन्यवाद करता हूं. इस अध्यादेश को लेकर अरविंद केजरीवाल अब तक ममता बनर्जी, उद्धव ठाकरे, शरद पवार और सीताराम येचुरी से भी मुलाकात कर चुके हैं.
क्या था केंद्र का अध्यादेश
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले को पलटते हुए केंद्र सरकार ने ट्रांसफर-पोस्टिंग को लेकर कमीशन गठित कर दिया था, केंद्र के अध्यादेश में साफ किया गया था कि ट्रांसफर-पोस्टिंग के मामलों में अंतिम निर्णय लेने का अधिकार उपराज्यपाल के पास ही होगा.
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