Jharkhand: सिविल सर्विस परीक्षा के रिजल्ट पर विवाद, राज्यपाल ने JPSC चेयरमैन को किया तलब, मांगा जवाब
Jharkhand News: झारखंड लोक सेवा आयोग की सिविल सर्विस परीक्षा के परिणाम पर उठे विवाद को लेकर राज्यपाल ने आयोग के चेयरमैन अमिताभ चौधरी (Amitabh Choudhary) को राजभवन तलब किया.
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JPSC Preliminary Exam: झारखंड (Jharkhand) के राज्यपाल रमेश बैस (Ramesh Bais) ने झारखंड लोक सेवा आयोग की सिविल सर्विस परीक्षा के परिणाम पर उठे विवाद को लेकर बुधवार को आयोग के चेयरमैन अमिताभ चौधरी (Amitabh Choudhary) को राजभवन तलब किया. इस विवाद के सभी बिंदुओं पर राज्यपाल ने आयोग के चेयरमैन से जानकारी मांगी. राज्यपाल से मिलने के बाद राजभवन से बाहर निकले जेपीएससी चेयरमैन ने सिर्फ इतना कहा कि राज्यपाल से इस मुद्दे पर जो भी बात हुई है, उसके बारे में वो मीडिया को नहीं बता सकते. ये जरूर है कि जेपीएससी को लेकर जितने भी सवाल हैं, उनके जवाब आयोग की ओर से वेबसाइट पर जल्द ही सबको मिल जाएंगे.
आयोग लिखित तौर पर स्पष्ट करेगा स्थिति
सूत्रों के अनुसार, राज्यपाल ने जानना चाहा कि जेपीएससी के अभ्यर्थियों ने रिजल्ट को लेकर जो आरोप लगाये हैं, उनसे जुड़े वास्तविक तथ्य क्या हैं? अभ्यर्थियों का आरोप है कि जेपीएससी पीटी का जो रिजल्ट जारी किया गया है, तीन दर्जन से भी ज्यादा अभ्यर्थी ऐसे हैं, जिनके रोल नंबर लगातार समान सिरीज में हैं. लोहरदगा, साहिबगंज और लातेहार के कुछ परीक्षा केंद्रों पर एक कमरे में परीक्षा देने वाले लगातार क्रमांक वाले अभ्यर्थियों को उत्तीर्ण घोषित किया गया है. ये कैसे संभव है कि एक साथ इतने मेधावी छात्र एक ही कमरे में परीक्षा दे रहे थे. अभ्यर्थियों ने सरकार की आरक्षण नीति का सही तरीके से अनुपालन नहीं किए जाने और अपेक्षाकृत कम अंक लाने वाले परीक्षार्थियों को उत्तीर्ण घोषित करने जैसे गंभीर आरोप भी लगाए हैं. बताया जा रहा है कि जेपीएससी के चेयरमैन ने राज्यपाल से कहा कि परीक्षार्थियों द्वारा जो भी आपत्तियां उठाई गई हैं, उनपर अगले तीन दिनों के अंदर आयोग लिखित तौर पर अपनी स्थिति स्पष्ट कर देगा.
अभ्यर्थियों ने किया प्रदर्शन
बता दें कि, इसके पहले मंगलवार को रांची में जेपीएससी पीटी के रिजल्ट को रद्द करने की मांग को लेकर अभ्यर्थियों ने जोरदार प्रदर्शन किया था. सैकड़ों अभ्यर्थी रांची के मोरहाबादी मैदान से निकलकर जेपीएससी मुख्यालय पर प्रदर्शन करने जा रहे थे, तब पुलिस ने उनपर लाठीचार्ज किया था. इस प्रदर्शन में भाजपा के 2 विधायक भानु प्रताप शाही और नवीन जायसवाल के साथ-साथ आजसू पार्टी के विधायक लंबोदर महतो भी शामिल थे.
भाजपा नेताओं ने राज्यपाल से की थी हस्तक्षेप की मांग
लाठीचार्ज की घटना के बाद मंगलवार शाम पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश की अगुवाई में पार्टी नेताओं के प्रतिनिधिमंडल ने राज्यपाल रमेश बैस से राजभवन जाकर मुलाकात कर उन्हें एक ज्ञापन सौंपा. ज्ञापन में उनसे जेपीएससी की गड़बड़ियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए सीधे हस्तक्षेप की अपील की गई थी. राज्यपाल से मिलने गए प्रतिनिधिमंडल में विधायक रणधीर सिंह, मनीष जायसवाल, अमर बाउरी सहित अन्य नेता शामिल थे.
विवादों में रहा है झारखंड लोक सेवा आयोग
झारखंड लोक सेवा आयोग अपनी स्थापना के प्रारंभिक काल से ही लगातार विवादों में रहा है. स्थापना के 20 सालों के दौरान आयोग सिविल सेवा की केवल 6 परीक्षाएं ले पाया और इन सभी के रिजल्ट पर विवाद रहा है. 2 सिविल सेवा परीक्षाओं में गड़बड़ियों की तो सीबीआई जांच भी चल रही है. जेपीएससी ने 7वीं से 10वीं सिविल सेवा के लिए संयुक्त रूप से पिछले महीने प्रारंभिक परीक्षा आयोजित की थी. एक नवंबर को इसका रिजल्ट घोषित किया गया. रिजल्ट आने के साथ ही विवाद शुरू हो गया था.
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