Jharkhand: 'मुसलमानों की 18 फीसदी आबादी के बाद भी...', कांग्रेस विधायक इरफान अंसारी ने अपनी ही पार्टी को घेरा
Jharkhand Lok Sabha Chunav 2024: झारखंड में कांग्रेस विधायक इरफान अंसारी ने टिकट बंटवारे पर नाराजगी जाहिर की है. उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यक समुदाय को नजरअंदाज करने का असर चुनाव में भी दिखाई देगा.
Jharkhand Lok Sabha Elections 2024: झारखंड में लोकसभा चुनावों को लेकर सीट बंटवारे को लेकर आपसी खींचतान दिखाई देने लगी है. इसी कड़ी में झारखंड कांग्रेस के विधायक इरफान अंसारी ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर पोस्ट कर टिकट वितरण को लेकर सवाल खड़े किए हैं. उन्होंने एक्स पोस्ट में लिखा कि 18%आबादी होने के बावजूद झारखंड मे एक सीट मुसलमान को नहीं देना पार्टी की बहुत बड़ी भूल और आत्मघाती कदम होगा. पार्टी के इस निर्णय से समाज मे भारी आक्रोश है. इतनी बड़ी आबादी को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए.
इरफान अंसारी ने आगे लिखा, "कुछ नेताओं ने भ्रम फैलाया है कि अगर मुसलमान को टिकट दिया गया तो वोट ध्रुवीकरण हो जाएगा तो इसकी क्या गारंटी है कि अन्य जिसको भी टिकट दिया जा रहा है वो जीत जाएगा. 2-3-4 प्रतिशत वालों को टिकट दिया जा रहा है तो क्या 18 प्रतिशत वाला सिर्फ वोट देने के लिए हैं. पार्टी इस पर विचार करे नहीं तो लोकसभा के साथ-साथ विधानसभा पर भी इसका गहरा प्रभाव पड़ेगा."
कांग्रेस विधायक ने कहा, "मुसलमान के वोट को कांग्रेस हल्के में न लें. कांग्रेस पार्टी की ओर से अल्पसंख्यक समुदाय को नजरअंदाज करने का ही नतीजा है कि अन्य राज्यों में अल्पसंख्यक समुदाय का वोट क्षेत्रीय पार्टी की तरफ रूख कर रहा है. मुसलमान अपने आपको ठगा महसूस कर रहा है. पार्टी इस पर पुन विचार करे और इतनी बड़ी आबादी वाले समाज को उनका सही हक देने का काम करे."
झारखंड के प्रभारी@GAMIR_INC से आग्रह है कि लोकसभा टिकट पर पूर्ण विचार करें।गिव एंड टेक की पॉलिसी होना चाहिए।हम देंगे वो नहीं देगा।यह किसने कहा।इस तरह की बातें कर आलाकमन गुमराह किया गया।देश के महान एवं मजबूत प्रदेश अध्यक्ष और CLP के रहते ऐसा निर्णय नहीं हो सकता पूर्ण विचार करें। pic.twitter.com/ItQKasMC2t
— Dr. Irfan Ansari (@IrfanAnsariMLA) April 16, 2024 [/tw]
‘आलाकमान को गुमराह किया गया’
विधायक इरफान अंसारी ने कांग्रेस के महासचिव और झारखंड प्रभारी गुलाम अहमद मीर से आग्रह करते हुए लिखा, "पार्टी लोकसभा टिकट पर फिर से विचार करे. गिव एंड टेक की पॉलिसी होना चाहिए. हम देंगे वो नहीं देगा. यह किसने कहा. इस तरह की बातें कर आलाकमन गुमराह किया गया. देश के महान और मजबूत प्रदेश अध्यक्ष और सीएलपी के रहते ऐसा निर्णय नहीं हो सकता, फिर विचार करें."
यह भी पढ़ें: Jharkhand Water Crisis: झारखंड में गिरते जल स्तर को लेकर HC ने जताई चिंता, गंभीर कदम उठाने के दिए निर्देश