Jharkhand News: झारखंड के धनबाद (Dhanbad) में इंसानियत को शर्मशार करने वाली घटना समाने आई है. छोटे बच्चों को हर कोई प्यार दुलार करता है, लेकिन समाज में ऐसे भी लोग है जो दरिंदगी की सारी सीमाएं पार कर देते है. दरअसल, धनबाद रेलवे स्टेशन के टिकट काउंटर के पास एक तीन साल की बच्ची बेसुध हालत में पड़ी हुई थी. जिसका दोनों हाथ-पैर तोड़कर गला दबाकर जान से मारने की कोशिश की गई थी. वहीं विक्रम ठाकुर नाम के एक युवक ने जख्मी हालत में उस बच्ची को एसएनएमएमसीएच अस्पताल में भर्ती करवाया, जिसके बाद रेलवे चाइल्ड लाइन मंथन की टीम अस्पताल में बच्ची की देखभाल कर रही है. बता दें कि, बच्ची की हालत काफी गंभीर है और वह अभी कुछ भी बोल पाने की हालत में नहीं है.


विक्रम ठाकुर ने बताया कि, धनबाद स्टेशन के टिकट काउंटर के पास एक पेड़ के नीचे जख्मी अवस्था में एक बच्ची पड़ी हुई थी. सुबह अखबार बेचने वालों की नजर उस बच्ची पर पड़ी, जिसके बाद अखबार विक्रेता ने उसे धनबाद स्टेशन के टिकट काउंटर के पास लाकर छोड़ दिया. इसके बाद उसकी नजर उस बच्ची पर पड़ी. इसके बाद इस मामले की जानकारी रेलवे चाइल्ड लाइन मंथन को दी गई. रेलवे चाइल्ड लाइन के द्वारा बच्ची को रेलवे अस्पताल ले जाया गया और मामले की सूचना जीआरपी पुलिस को दी गई. रेलवे अस्पताल से बच्ची को बेहतर इलाज के लिए एसएनएमएमसीएच भेज दिया गया. जहां बच्ची का इलाज चल रहा है.


सीडब्ल्यूसी करेगी कार्रवाई


वहीं विक्रम ठाकुर और रेलवे चाइल्ड लाइन मंथन की महिला वॉलिंटियर ने बताया कि, बच्ची का दोनों पैर और एक हाथ टूटा हुआ है. उसके गले में भी दाग है. गर्दन पर बने निशान को देखकर लगता है कि, जैसे गला दबाकर उसकी हत्या करने की कोशिश की गई है. फिलहाल बच्ची कुछ भी बोल पाने की हालत में नहीं है. सीडब्ल्यूसी को मामले की सूचना दे दी गई है. आगे की कार्रवाई सीडब्ल्यूसी के माध्यम से की जाएगी. वहीं अभी बच्ची के परिजनों का पता नहीं चल सका है.



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