Jharkhand Top News: झारखंड हाई कोर्ट के नये भवन का उद्घाटन 24 मई 2023 को होगा. इसमें राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआइ) के न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ और केंद्रीय कानून व न्याय मंत्री किरेन रिजिजू के आने की संभावना है. हालांकि, इसकी घोषणा अभी नहीं की गयी है. उद्घाटन समारोह की तैयारी को लेकर शुक्रवार को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन और झारखंड हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश संजय कुमार मिश्रा के बीच वर्चुअल बैठक हुई. बैठक में तैयारियों की रूप रेखा को लेकर विभिन्न बिंदुओं पर विचार-विमर्श हुआ और अधिकारियों को कई महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश भी दिये गये. Read More


झारखंड में सरकारी नौकरी की राह आसान


झारखंड सरकार ने एक दर्जन से अधिक नियुक्ति नियमावलियों में से उस प्रविधान को हटा लिया है, जिसमें नियुक्ति के लिए सामान्य श्रेणी के अभ्यर्थियों के लिए झारखंड के स्कूल-कॉलेजों से 10वीं और 12वीं उत्तीर्ण होना अनिवार्य किया गया था. इससे लगभग 20 हजार पदों पर नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया है. इन पदों पर दो महीने में नियुक्ति प्रक्रिया शुरू होने की संभावना जताई जा रही है. Read More


झारखंड में भी दिखेगा 'मोका' का असर


बंगाल की खाड़ी में उठा तूफान 'मोका' अब खतरनाक रूप ले रहा है. ऐसे में झारखंड में भी इसका हल्का असर देखने को मिलेगा. इस चक्रवाती तूफान की वजह से कुछ जिलो में बारिश की संभावना बन रही है. वहीं बाकी अन्य इलाकों में बादल छाए रहेंगे. इससे गर्मी से कुछ निजात मिलेगी. फिलहाल, झारखंड में लोग अभी गर्मी से काफी परेशान हैं. Read More


झारखंड में IAS-IPS की कमी


झारखंड आईएएस-आईपीएस अफसरों की कमी झेल रहा है. राज्य प्रशासन के कई अहम पद या तो खाली हैं या फिर प्रभार में चल रहे हैं. ऐसे में राज्य का प्रशासनिक ढांचा प्रभावित हो रहा है. कई विभागों में महत्वपूर्ण परियोजनाओं को गति नहीं मिल पा रही है. कई आईएएस अफसर ऐसे हैं, जो एक साथ कई विभागों का कामकाज देख रहे हैं. राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कुछ महीने पहले प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर राज्य में आईएएस अफसरों की कमी से अवगत कराया था. उन्होंने राज्य सरकार से एनओसी (नो ऑब्जेक्शन सर्टिफिकेट) लिए बगैर केंद्र द्वारा आईएएस अफसरों की सेवा सीधे केंद्रीय तैनाती पर भेजे जाने के नियम लागू करने के प्रस्ताव पर विरोध जताया था. Read More


झारखंड की 3 बेटियों ने किया कमाल


किसी के सिर से पिता का साया बचपन में उठ गया तो किसी के मां-पिता ने दिहाड़ी मजदूरी की. किसी ने सपने को जमीन पर उतारने के लिए खुद खेतों में काम किया. संघर्ष की ये कहानियां झारखंड के सिमडेगा जिले की उन तीन बेटियों की हैं, जिनका चयन महिला जूनियर एशिया कप-2023 के लिए भारतीय टीम में हुआ है. इनके नाम दीपिका, रोपनी और महिमा हैं. हॉकी के मैदान तक पहुंचने और वहां अपनी काबिलियत साबित करने के लिए तीनों को बेहद विषम हालात से गुजरना पड़ा है. दीपिका और रोपनी के पिता का बहुत पहले निधन हो चुका है. उनके परिवार वालों ने किसी तरह मजदूरी कर खिलाड़ी बेटियों के सपनों को न सिर्फ जिंदा रखा, बल्कि उसे हासिल कराने में हर संभव योगदान दिया. Read More


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