Ranchi Violence: कांग्रेस MLA ने दंगाइयों को बताया प्रदर्शनकारी, पार्टी ने नेताओं को संयम बरतने की दी नसीहत
Ranchi News: कांग्रेस MLA इरफान अंसारी (Irfan Ansari) ने शुक्रवार को हुए उपद्रव में मारे गए दंगाइयों को प्रदर्शनकारी बताते हुए मृतकों के आश्रितों को 50 लाख मुआवजा और सरकारी नौकरी देने की मांग की है.
Ranchi Violence: झारखंड (Jharkhand) की राजधानी रांची (Ranchi) में हुए उपद्रव को लेकर सियासत भी तेज हो गई है. झारखंड के जामताड़ा से कांग्रेस विधायक इरफान अंसारी (Irfan Ansari) ने रांची में शुक्रवार को हुए उपद्रव में मारे गए दंगाइयों को प्रदर्शनकारी बताते हुए मृतकों के आश्रितों को 50 लाख मुआवजा और सरकारी नौकरी देने की मांग की है. हालांकि, इस मुद्दे पर अलग-थलग पड़ने के बाद कांग्रेस विधायक ने उस बयान से भी किनारा कर लिया है जिसमें उन्होंने पुलिस को निशाने पर लिया था. इरफान ने रांची के सिटी एसपी की आलोचना की थी. उग्र भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पुलिस की कार्रवाई पर विरोध जताने वाले विधायक इरफान अंसारी के बयान से कांग्रेस (Congress) के नेता सहमत नहीं हैं.
नेताओं को संयम बरतने की नसीहत
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राजेश ठाकुर ने पुलिस की कार्रवाई को न्यायसंगत बताया है. इसके अलावा कांग्रेस के अन्य नेता भी राज्य सरकार की तरफ से गठित किए गए जांच दल से संतुष्ट हैं. जांच दल की रिपोर्ट के आधार पर ही कांग्रेस अब आगे की कोई रणनीति तैयार करेगी. फिलहाल, पार्टी ने इस मुद्दे पर नेताओं को संयम बरतने की नसीहत भी दी है. कांग्रेस नेताओं का कहना है कि कानून अपना काम करेगा.
सरकार पर हमलावर है बीजेपी
रांची में उपद्रव की घटना को लेकर मुख्य विपक्षी दल बीजेपी भी लगातार राज्य सरकार पर हमलावर है. बीजेपी नेताओं ने उपद्रवियों की गिरफ्तारी को लेकर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन पर दबाव बनाने के साथ ही सवाल उठाया है कि आखिर किस बात को लेकर राज्य सरकार इतनी बेबस है. पूर्व मुख्यमंत्री और बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष रघुवर दास ने राज्य सरकार पर सीधे आरोप लगाते हुए कहा कि हेमंत सरकार लीपापोती में लगी है. उन्होंने ये भी कहा कि रांची की घटना तुष्टिकरण, वोट बैंक की राजनीति का नतीजा है.
सरकार दोषियों पर कार्रवाई करने से बच रही है
रघुवर दास ने कहा कि, ''असामाजिक तत्वों का मनोबल काफी बढ़ा हुआ है. हेमंत सरकार उनके सामने बेबस है. बिहार के मंत्री नितिन नवीन के ऊपर जानलेवा हमला हुआ, लेकिन राज्य सरकार दोषियों पर कार्रवाई करने से बच रही है. बीजेपी नेता भैरव सिंह के घर पर सुनियोजित हमला किया गया, लिखित शिकायत के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई.'' उन्होंने कहा कि, ''हेमंत सोरेन सरकार के आने के बाद से पीएफआई की गतिविधियां राज्य में बढ़ गई हैं. हमारी सरकार ने पीएफआइ पर बैन लगाकर कड़ी कार्रवाई की थी. गृह मंत्रालय की तरफ से चेतावनी दिए जाने के बावजूद राज्य सरकार ने कोई ठोस कदम नहीं उठाया.''
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