MP Assembly Election: मध्य प्रदेश में कांग्रेस के अब दो-दो सियासी दुश्मन, AAP की दस्तक ने बढ़ाई पार्टी की टेंशन!
MP Assembly Elections 2023: आप (AAP) के राज्यसभा सांसद संदीप ने कहा था कि, मप्र की सभी 230 सीटों पर पार्टी चुनाव लड़ेगी. वे बीजेपी से बचते नजर आए, जबकि कांग्रेस पर तीखे तेवर दिखाए.
Assembly Elections 2023: मध्य प्रदेश की सियासत में अब तक महज दो पार्टी बीजेपी (BJP) और कांग्रेस (Congress) हैं, लेकिन अब तीसरे मोर्चे के रूप में उभरकर सामने आ रही अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) ने कांग्रेस की टेंशन बढ़ा दी है. आने वाले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी के लिए एक नहीं बल्कि अब दो-दो सियासी दुश्मन रहेंगे. अब तक कांग्रेस पार्टी बीजेपी से ही मुख्य मुकाबला करती आई हैं, लेकिन अब आम आदमी पार्टी (AAP) की दस्तक ने कांग्रेस को टेंशन में लगा दिया है. इस टेंशन की मुख्य वजह दिल्ली और गुजरात हैं, जहां आम आदमी पार्टी के बढ़ते क्रेज ने कांग्रेस को पहुंचाया है.
बता दें कि बीते दिन आम आदमी पार्टी के संगठन महामंत्री व राज्यसभा सांसद संदीप राजधानी भोपाल आए थे. पाठक के आने से पहले ही मध्य प्रदेश की आप कार्यकारिणी भंग कर दी गयी थी. आप पार्टी के संगठन महामंत्री संदीप पाठक ने राजधानी भोपाल में पार्टी की महत्वपूर्ण बैठक लेने के साथ ही पत्रकार वार्ता का आयोजन किया था, जिसमें पत्रकारों को संबोधित करते हुए पाठक ने मप्र की सभी 230 सीटों पर आप प्रत्याशियों के चुनाव मैदान में उतरने की बात कही थी. पत्रकार वार्ता के दौरान पाठक ने साफ कहा कि था कि कांग्रेस को वोट देना मतलब बीजेपी का साथ देना है.
कांग्रेस पर ही कसा तंज
आम आदमी पार्टी के संगठन महामंत्री संदीप पाठक सत्ताधारी बीजेपी से बचते नजर आए, जबकि विपक्षी दल कांग्रेस पर तीखे तेवर दिखाए. पाठक ने मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर कहा कि हमारी पार्टी चुनाव से पहले ही मुख्यमंत्री का चेहरा स्पष्ट करेगी. हमारी पार्टी ऐसा नहीं करेगी कि चेहरा कोई और हो, बाद में दूल्हा किसी और को बना दिया जाए. उचित समय आने पर पार्टी सीएम का चेहरा स्पष्ट कर देगी. बीते दो-तीन दिन से कांग्रेस में सीएम चेहरे को लेकर घमासान मचा हुआ है.
दिल्ली-गुजरात में नुकसान
बता दें कि आदमी पार्टी की दस्तक का खामियाजा कांग्रेस पार्टी दिल्ली और गुजरात में भुगत चुकी है. दोनों ही राज्यों में हुए चुनावों के दौरान कांग्रेस को ही नुकसान का सामना करना पड़ा है. दिल्ली में तो आप ने सरकार बना ली और यहां कांग्रेस पूरी तरह से जमीन पर आ गई, जबकि गुजरात में भी हुए विधानसभा चुनावों की बात करें तो यहां कांग्रेस का वोटबैंक आम आदमी पार्टी का हो गया है. अब मध्य प्रदेश में आप की दस्तक कांग्रेस को टेंशन दे रही है.
कांग्रेस को कैसे हुआ नुकसान
बता दें हाल में हुए गुजरात चुनाव परिणामों के बाद आम आदमी पार्टी ने सभी राजनीतिक पार्टियों का ध्यान अपनी ओर खींचा है. यहां कुल 156 सीटों पर पार्टी ने चुनाव लड़ा था, लेकिन उसे महज पांच सीटों पर जीत मिली थी, लेकिन आप 35 सीटों पर रनरअप रही थी. अगर हम वोट प्रतिशत की बात करें तो यहां पर आप का वोट प्रतिशत 12.9 था जबकि कांग्रेस का वोट प्रतिशत 27 था जिसमें 2017 के मुकाबले 16 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई. कांग्रेस को 2017 के चुनाव में 77 सीटों पर जीत मिली थी और 2022 में उसे महज 16 सीटें ही मिलीं. चुनाव परिणामों के बाद कांग्रेस नेताओं ने बयान दिया था कि इतनी कम सीटें आने की वजह आम आदमी पार्टी है.