MP Cyber Fraud: मध्य प्रदेश में साइबर जालसाजी का अब एक नया ट्रेंड दिखाई दे रहा है. पहले साइबर ठग आम आदमियों को शिकार बनाते थे. अब ठगों के निशाने पर आईएएस अधिकारी आ गये हैं. बीते एक सप्ताह में साइबर ठगों ने 8 कलेक्टरों के नाम पर ठगी करने का प्रयास किया. अब तक जबलपुर, धार, सिवनी, उमरिया, शहडोल, शिवपुरी हरदा और अलीराजपुर कलेक्टर के साथ मामला सामने आ चुका है. साइबर ठग व्हाट्सएप डीपी में कलेक्टरों की फोटो लगाकर रिश्तेदारों से पैसे मांग रहे हैं.


7 अगस्त को जबलपुर कलेक्टर दीपक सक्सेना के साथ घटना घटी. सूत्र बताते हैं कि साइबर ठगों ने कलेक्टर के रिश्तेदार को 25 हजार का चूना लगा दिया. ठगी का पता चलने पर दीपक सक्सेना को अपील जारी करनी पड़ी. साइबर ठगों ने व्हाट्सएप डीपी में जबलपुर कलेक्टर का फोटो लगाकर वारदात को अंजाम दिया. 7 अगस्त को धार कलेक्टर प्रियंक मिश्रा के नाम से वाट्सएप पर अकाउंट बनाने का मामला सामने आया है. ठग ने कलेक्टर की फोटो लगाकर मैसेज किए.


साइबर ठगों ने बदला अपराध का तरीका


मामला सामने आने पर कलेक्टर मिश्रा ने फौरन जनसंपर्क के माध्यम से जिले में अलर्ट जारी करवाया. दो दिन बाद साइबर ठगों का अगला निशाना सिवनी कलेक्टर संस्कृति जैन रहीं. फर्जी वाट्सएप अकाउंट में कलेक्टर की फोटो लगाकर पैसों और गिफ्ट की डिमांड की गयी. घटना के बाद कलेक्टर को सोशल मीडिया अकाउंट पर सफाई देनी पड़ी. शहडोल में कलेक्टर रहे तरुण भटनागर के नाम से भी फर्जी वाट्सएप आईडी बनाकर पैसे मांगे गये. उन्होंने सफाई देने के बाद थाने में शिकायत दर्ज करवाई.


अब कलेक्टर के नाम से मांग रहे हैं पैसे


7 अगस्त को शिवपुरी कलेक्टर रविंद्र चौधरी की फर्जी वाट्सएप आईडी से भोपाल में पोस्टेड शिवपुरी एडीएम रहे विवेक रघुवंशी के पास मैसेज पहुंचा. हाय, हैलो का मैसेज दूसरे वाट्सएप नंबर से मिलने पर एडीएम रघुवंशी ने फौरन कलेक्टर चौधरी से व्यक्तिगत नंबर पर संपर्क किया. शिवपुरी कलेक्टर ने बताया कि मेरा दूसरा कोई वाट्सएप अकाउंट नहीं है. मेरे नाम से किसी ने फर्जी अकाउंट बना लिया है. ऐसी कोशिश हरदा कलेक्टर आदित्य सिंह के नाम लगी फोटो वाले व्हाट्सएप पर भी हुई.


श्रीलंका के नंबर से अकाउंट बनाकर पैसे मांगने की कोशिश हुई. कलेक्टर ने व्हाट्सएप स्टेटस पर स्क्रीनशॉट डालकर लोगों को अलर्ट रहने की सलाह दी. उमरिया कलेक्टर धर्मेंद्र कुमार जैन ने भी सोशल मीडिया पर लोगों को स्क्रीनशॉट डालकर लोगों को आगाह किया. उन्होंने बताया कि फर्जी व्हाट्सएप नंबर के जरिए पैसों की डिमांड की जा रही है. अलीराजपुर कलेक्टर डॉ अभय अरविंद बेडेकर के नाम से भी ऐसे ही फर्जी व्हाट्सएप अकाउंट बनाकर ठगी की कोशिश की गई. साइबर ठग ने सीएम हाउस में तैनात कलेक्टर अभय अरविंद के परिचित भी ठगने की कोशिश की.


परिचित भी साइबर ठग के झांसे में आ गए. उन्होंने व्हाट्सएप पर जवाब दिया कि सीएम हाउस में काम कर रहा हूं. गनीमत रही कि पैसे देने से पहले अलीराजपुर कलेक्टर के परिचित जालसाजी को समझ गये. साइबर ठगी के नये तरीके से मध्य प्रदेश पुलिस सकते में है. साइबर सेल के एडीजी योगेश देशमुख ने बताया कि कलेक्टरों से जुड़े मामलों की जांच की जा रही है. अंतरराष्ट्रीय कॉल वीपीएन के जरिये होते हैं. वीपीएन में किसी भी देश का कोड लगाकर भारत से भी ऑपरेट किया जा सकता है. साइबर ठगों की विदेश से संचालित नई स्ट्रेटजी की जांच की जा रही है.


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