MP Election 2023: पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह (Digvijaya Singh) इंदौर (Indore) दौरे पर आए और बैठक करके यहां से चले भी गए. लेकिन अपने पीछे कांग्रेसियों के लिए बड़ा सवाल छोड़ गए, वह यह कि आखिर कैसे और कब किस नेता को टिकट मिलेगा. जो नेता टिकट की टकटकी लगाकर बैठे हैं उनमें उनकी संख्या ज्यादा है जो युवा हैं और कांग्रेस (Congress) के टिकट फॉर्मूले पर फिट बैठते हैं.
अपने दो दिन के दौरे पर इंदौर आए दिग्विजय सिंह आखिरकार अपनी रिपोर्ट बनाकर ले गए. इंदौर की विधानसभा दो,तीन और चार पर फोकस कर रही कांग्रेस के लिए ये तीनों ही विधानसभा जीतना किसी जंग जीतने से कम नहीं है. जाते-जाते दिग्विजय सिंह कांग्रेस नेताओं से कह गए कि कांग्रेस में टिकट के लिए कोई फॉर्मूला अबतक तय नहीं है. लेकिन इतना जरूर है कि जीतने वाले उम्मीदवार को पार्टी प्राथमिकता देगी.
अपने क्षेत्र में करो मेहनत, टिकट की मत करो चिंता- दिग्विजय
इंदौर की जिन विधानसभाओं के कांग्रेसी नेता बड़ी मेहनत से पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह के सामने अपनी फरियाद लेने आए थे उन्हें मुंह की खानी पड़ी. दिग्विजय सिंह ने साफ कर दिया कि 'मुझसे टिकट मत मांगो, अगर मांगोगे तो दूंगा नहीं, इससे अच्छा है अपने क्षेत्र में काम करो और मेहनत करो कि इस बार बीजेपी को हराकर हमारा उम्मीदवार जीते.'
इंदौर की तीन सीटों का समझें गणित
इंदौर की तीनों विधानसभाओं में से दो नम्बर विधानसभा 1993 से, चार नम्बर विधानसभा 1990 से और पांच नम्बर विधानसभा 2003 से कांग्रेस से दूर है. यानि यहां कांग्रेस के उम्मीदवार को मुंह की ही खानी पड़ी है. आंकड़े देखें तो पता चलता है कि इन तीनों सीटों पर बीजेपी के महज 5 प्रत्याशियों ने कांग्रेस के 15 चेहरों को मात दी. बात करते हैं कैलाश विजयगर्वीय के गृह क्षेत्र यानि इंदौर विधानसभा 2 की तो यहां बीजेपी 1993 में जीती. 1993 से 2003 तक कैलाश विजयवर्गीय यहां जीते और फिर 2008 से 2018 तक रमेश मेंदोला ने बीजेपी का झंडा गाड़े रखा.
1990 से यहां बीजेपी का है परचम
वहीं, विधानसभा 4 में 1990 में कैलाश विजयवर्गीय ने कांग्रेस को मात दी तो फिर 1993 से 2003 तक लक्ष्मण सिंह गौड़ ने जीत का परचम लहराया और फिर उनकी पत्नी मालिनी गौड़ 2008 से विजयी भवः का आर्शीवाद लेती आ रही हैं. इसी प्रकार पांच नम्बर विधानसभा का हाल है. यहां कांग्रेस की ओर से महेंद्र हार्डिया किलाबंदी करके खड़े हैं.
कांग्रेस से चिंटू चौकसे भर रहे दम
दिग्विजय सिंह के दौरे के बाद विधानसभा दो में चिंटू चौकसे ने फिर से विधायक पद उम्मीदवार के लिए दम भर लिया है. युवा होने के नाते उनका सिक्का चल भी सकता है. वहीं विधानसभा चार में कमलनाथ के चहेते गोलू अग्निहोत्री और अक्षय बम उम्मीदवार हो सकते हैं. विधानसभा 5 में कांग्रेस सत्यनारायण पटेल और स्वप्निल कोठारी के बीच टिकट की खींचतान हो सकती है.
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