MP News: कैसे संवरेगा बच्चों का भविष्य? मध्य प्रदेश के 25 हजार से ज्यादा स्कूलों में बिजली कनेक्शन नहीं, पढ़ें डिटेल
MP Electricity Crisis: सरकारी स्कूलों में खेल मैदान और बिजली के अभाव के मामले में एमपी पहले पायदान पर है. यहां 92695 सरकारी स्कूल हैं, जिनमें से 25804 में बिजली कनेक्शन नहीं है.
Electricity Crisis in MP: मध्य प्रदेश में सरकारी स्कूलों की हालत ठीक नहीं है. खेल मैदान और बिजली व्यवस्था के अभाव के मामले में मध्य प्रदेश देश पहले पायदान पर है. इस बात का खुलासा लोकसभा में सांसद द्वारा पूछे गए सवाल के जवाब में केन्द्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान द्वारा दिए गए जवाब से हुआ है.
बता दें मध्य प्रदेश में सरकारी स्कूलों में बेहतर शिक्षा के लाख दावे किए जा रहे हों, लेकिन वास्तविकता में सरकारी स्कूलों की हालत ठीक नहीं है. बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए स्कूलों में खेल मैदान का अभाव है, तो वहीं ऑनलाइन क्लास और कंप्यूटर के दौर में भी सरकारी स्कूल बिजली व्यवस्था से जूझ रहे हैं.
छत्तीसगढ़ से भी बदतर हालत
बता दें, सरकारी स्कूलों में खेल मैदान और बिजली के अभाव के मामले में एमपी पहले पायदान पर है. मध्य प्रदेश से तो अच्छी हालत छत्तीसगढ़ की है. लोकसभा में पूछे गए सवाल के जवाब में केन्द्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान द्वारा दिए गए जवाब के अनुसार, मध्य प्रदेश में 92695 सरकारी स्कूल हैं, जिनमें से 21031 के पास खेल मैदान नहीं है, जबकि 25804 स्कूलों में बिजली कनेक्शन नहीं है.
इसी तरह राजस्थान में 68948 स्कूल में से 16862 के पास खेल मैदान नहीं. 11113 के पास बिजली कनेक्शन नहीं हैं. छत्तीसगढ़ में 48743 सरकारी स्कूल, 11483 के पास खेल मैदान नहीं, जबकि 2240 बिजली विहीन हैं. गुजरात में 34699 स्कूल, 5501 के पास खेल मैदान नहीं, महज 21 स्कूलों में बिजली नहीं है.
कर्नाटक में 49679 स्कूल में 11176 खेल मैदान विहीन, जबकि 436 बिजली विहीन हैं. वहीं, तमिलनाडु 37636 स्कूल, 6685 के पास खेल मैदान नहीं हैं, जबकि सभी स्कूलों में बिजली की समुचित व्यवस्था है. पश्चिम बंगाल में 83302 सरकार स्कूल हैं, जिनमें 28679 के पास खेल मैदान नहीं हैं और 1613 स्कूल ही ऐसे हैं, जिनमें बिजली व्यवस्था नहीं है.
राजधानी में तो दीपक तले अंधेरा
बता दें, पूरे प्रदेश में अगर राजधानी भोपाल की ही बात करें तो यहां दीया तले अंधेरा है. राजभवन के ठीक पीछे एक स्कूल मांगलिक भवन में संचालित हो रहा है. वर्षों बाद भी इस स्कूल को स्वयं का भवन नसीब नहीं हो सका है. स्थिति यह है कि नुक्ते, रसोई, शादी, बर्थडे जैसे अनेक समारोह के बीच यहां बच्चे पढ़ाई के लिए मजबूत होते हैं.
ये सुविधाएं जरूरी
1. पीने का पानी, हाथ धोने वाले स्थानों का निर्माण
2. लड़कों-लड़कियों के लिए अलग-अलग शौचालय
3. सैनेटरी पैड वैडिंग मशीन और इंसीनरेटर का निर्माण
4. दिव्यांग अनुकूल शौचालय, रैंप, अन्य सुविधाएं
5. रसाई, चालू बिजली कनेक्शन
6. वाई-फाई की सुविधा
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