Indore Exam Centre News: इंदौर से सटे गौतमपुरा के छात्र-छात्राओं के परिवार बड़ा ही असमंजस की स्थिति में हैं. शिक्षा विभाग ने 5वीं और 8वीं कक्षा का परीक्षा केंद्र 20 किमी दूर तक बना दिया गया है. जिससे छोटे-छोटे बच्चे इतनी दूर जाने में असमर्थ है. वहीं गावों में बस ट्रेन रिक्शा जैसी सुविधा भी नहीं है. जिससे छात्र-छात्राएं समय पर परीक्षा केंद्र पहुंच जाएं. राज्य शिक्षा केन्द्र के निर्देश पर दिनांक 25 मार्च समय सुबह 9 से 11:30 तक कक्षा 5वीं और 8वीं की परीक्षा ली जानी है.
दरअसल गौतमपुरा से क्षेत्र के ग्राम जलोदिया ज्ञान के स्कूल में अध्ययनरत पांचवीं और आठवीं के छात्र-छात्राओं का परीक्षा केंद्र गांव से 18 से 20 किमी दूर गौतमपुरा कर दिया गया है. जिससे यहां के छात्र की फजीहत हो गई है. विभाग के छोटे-छोटे बच्चों का परीक्षा केंद्र इतनी दूर करने से अभिभावक बेहद आक्रोशित हैं. विभाग को प्रदर्शन करने की चेतावनी दी गई है.
18 किमी दूर रखा परीक्षा केंद्र
शासकीय हाई स्कूल जलोदिया ज्ञान में कक्षा 5वीं और 8वीं के ग्राम जलोदिया ज्ञान सहित ग्राम गाडीबिल्लोदा, ओसरा, खेड़ा आदि गांवों के 50 से अधिक बच्चे अध्ययन करने आते हैं. कुछ दिन पहले जब बच्चों को स्कूल से प्रवेश पत्र दिया गया और उन्हें बच्चे घर ले गए और पालको को पता चला कि बच्चों का परीक्षा केंद्र 18 किमी दूर गौतमपुरा के शासकीय बालक विद्यालय में कर दिया गया है तो अगले दिन स्कूल जाकर पालकों ने नाराजगी जाहिर की.
तुगलकी निर्णय से होगा भारी नुकसान
पालकों का कहना है कि पहले जलोदिया ज्ञान में ही परीक्षा केंद्र बनता था जहां दूसरे गांव के स्कूलों के बच्चे भी परीक्षा देने आते थे पर इस बार विभाग की लापरवाही और नजरंदाजगी से हमें परेशान होना पड़ेगा. पालक दिनेश चौहान का कहना है कि शिक्षा विभाग का यह तुगलकी निर्णय है. छोटे-छोटे बच्चे इतनी दूर परीक्षा देने कैसे जाएंगे. गांव में न बस आती है न ट्रेन न कोई अन्य साधन और सभी के पास खुद के साधन भी नहीं हैं जो बच्चों को सुबह सुबह 20 किमी दूर गौतमपुरा ले जाए.
वहीं सबसे बड़ी समस्या है कि अभी फसल कटाई का समय है. सभी लोग खेत पर मजदूरी के लिए चले जाते हैं. ऐसे में बच्चो को लेकर गौतमपुरा जाना और वहां से पुनः उन्हें लाना, बच्चे तो परेशान होंगे ही साथ ही उस दिन की दिहाड़ी मजदूरी भी चली जाएगी.
शिक्षा विभाग के खिलाफ प्रदर्शन की चेतावनी
पालक मुकेश पटेल का कहना है मैं दूध वाहन पर रोजाना सुबह 5 बजे उठ कर 80 किमी दूर इंदौर दूध उतारने जाता हूं. परिवार में ओर कोई ऐसा नहीं है जो बच्चों को छोड़ने चला जाए. मेरे लिए तो संभव ही नहीं है कि मैं अपने बच्चे को परीक्षा केंद्र छोड़ने जाऊं. शिक्षा विभाग को गांव के निवासियों के बारे में सोचना चाहिए कि किसानी मजदूरी करने वाले लोग छोटे-छोटे बच्चों को कैसे इतनी दूर ले जाएंगे.
वहीं आक्रोशित पालक रामेश्वर आंजना का कहना है शिक्षा विभाग अगर परीक्षा केंद्र जलोदिया ज्ञान नहीं करता है तो हम हमारे बच्चों को परीक्षा देने नहीं पहुचाएंगे और इसकी जवाबदारी शिक्षा विभाग की रहेगी. साथ ही पालको ने विभाग के खिलाफ प्रदर्शन करने की चेतावनी भी दी है.
एक संकुल में 4 केंद्र से ज्यादा केंद्र बनाने का ऑप्शन नहीं: प्रसाद गौड़
मामले को लेकर बीआरसी माता प्रसाद गौड़ का कहना है कि शासन की बनाई गई साइड पर एक संकुल में 4 केंद्र से ज्यादा केंद्र बनाने का ऑप्शन नहीं है. हमारे संकुल के अंतर्गत जो स्कूल है उनका परीक्षा केंद्र शासकीय बालक विद्यायल गौतमपुरा, शासकीय स्कूल भील बाड़ोली, गौतमपुरा के सरस्वती शिशु मंदिर, ओर गौतमज्ञान मंदिर गौतमपुरा बनाया गया है. जहां 5वीं और 8वीं के बच्चों की परीक्षा होगी.
शिक्षा समिति के अध्यक्ष ने दिया आश्वासन
उनके मुताबिक क्षेत्र में इन स्कूलों के अलावा अन्य कोई स्कूल में पर्याप्त सुविधा भी नहीं है. फिर भी इस मामले में अधिकारियों से बात करके यदि कोई व्यवस्था होती है तो करेंगे. शिक्षा समिति के अध्यक्ष और जिला पंचायत उपाध्यक्ष भारत पटेल का का कहना है शिक्षा विभाग के अधिकारियों से इस संबंध में बात करके गांव के नजदीक केंद्र बनाने का प्रयास करेंगे जिससे बच्चों को परेशानियों का सामना न करना पड़े.