MP Crops Spoiled: मध्यप्रदेश के मालवा अंचल में बेमौसम बारिश के कारण किसानों को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है. बारिश के कारण फसलें चौपट हो रही हैं. अभी किसानों को पूर्व में हुई प्राकृतिक आपदा का भी मुआवजा नहीं मिल पाया है. शनिवार से मध्यप्रदेश के मालवा अंचल के अधिकांश जिलों में आंधी तूफान के साथ बारिश हो रही है. इसके अलावा कुछ जिलों में ओलावृष्टि की भी खबर है. उज्जैन रतलाम, मंदसौर, नीमच, शाजापुर, देवास में बारिश से भारी नुकसान हुआ है. देवास के किसान राहुल गुर्जर के मुताबिक गेहूं और चने की फसल को काफी नुकसान हुआ है.


इसके अलावा सब्जियों पर भी बुरा असर पड़ा है. कुल मिलाकर किसानों को बेहद कठिन दौर से गुजरना पड़ रहा है. इस मौसम में कभी पहले बारिश नहीं होती थी लेकिन बारिश और आंधी तूफान के कारण फसलों में नुकसान पहुंच रहा है. जिन किसानों ने फसल काटकर खेत में रख दी थी, वह भी तीन-चार दिन तक फसल नहीं निकाल पाएंगे. इसके अलावा बारिश की वजह से खेतों में खड़ी फसल भी लेट गई है. अनाज के दानों पर दाग लग रहे हैं जिसकी वजह से उन्हें फसलों के उचित दाम मिलना भी मुश्किल हो गया है. 


चुनावी साल में मुआवजे में लेट-लतीफी


रतलाम जिले के किसान प्रभु लाल के मुताबिक पूर्व में प्राकृतिक आपदा के नुकसान के मुआवजे का इंतजार किया जा रहा है. अभी कई इलाकों में सर्वे ही चल रहा है. ऐसी स्थिति में किसानों को दोहरी मार पड़ रही है. सरकार से उम्मीद है कि चुनावी साल होने की वजह से इस बार मुआवजे में लेट-लतीफी नहीं होगी. पूर्व के सालों में यह देखने में आया है कि कई बार सर्वे तो हुआ मगर मुआवजे की राशि ऊंट के मुंह में जीरे के समान आई जिसकी वजह से किसानों का दर्द कम नहीं हुआ. 


'किसानों को नहीं होना पड़ेगा निराश'


कृषि मंत्री कमल पटेल के मुताबिक वर्तमान समय में मध्य प्रदेश में किसानों की सरकार है. ऐसी स्थिति में किसानों को निराश होने की कोई जरूरत नहीं है. उन्होंने कहा कि यदि आवश्यकता हुई और दूसरी बार भी सर्वे कराना पड़ा तो सरकार पीछे नहीं हटेगी. कमल पटेल के मुताबिक किसानों के नुकसान का लगातार आंकलन चल रहा है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के निर्देश पर किसानों को प्राकृतिक आपदा से हुए नुकसान का मुआवजा और फसल बीमा जल्दी दिलाने की कोशिश रहेगी. 


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