MP News: कटनी में कलेक्टर के वजन से कांपने लगीं पानी टंकी की सीढ़ियां, अब तोड़ा जा रहा भ्रष्टाचार का निर्माण
Katni Collector Action: जबलपुर इंजीनियरिंग कॉलेज के सिविल इंजीनियरिंग विभाग के एचओडी डॉ राजीव चांडक ने जांच करते हुए प्रतिवेदन सौंप दिया. प्रतिवेदन में पाया गया कि सीढ़ियां गुणवत्ताहीन हैं.
Katni Corruption: मध्य प्रदेश के कटनी में जब कलेक्टर (Collector) 40 फीट ऊंची पानी की टंकी पर चढ़े तो उनके वजन से सीढ़ियां कांपने लगीं. यह देख कर कलेक्टर अचंभित हो गए. उन्होंने सीढ़ियों के निर्माण की गुणवत्ता की जांच करवाई तो उनका शक सही निकला. सीढ़ियों के निर्माण में भारी भ्रष्टाचार (Corruption) की बात सामने आई. इसके बाद सीढ़ियों को तोड़कर अब नई सीढ़ी बनाने के निर्देश के साथ काम भी शुरू हो गया है.
कलेक्टर ने दिए जांच के निर्देश
दरअसल, कटनी कलेक्टर अवि प्रसाद पिछले दिनों विजयराघवगढ़ के देवरी मझगवां पहुंचे थे. इस दौरान उन्होंने निर्माणाधीन पानी की टंकी को देखा. कलेक्टर 40 फीट ऊंची पानी की टंकी पर चढ़ गए. इसके बाद उन्होंने पाया कि उनके चलने से टंकी की सीढ़ियां कांप रही हैं. इसके बाद उन्होंने गुणवत्ता की जांच के निर्देश दिए.
जांच में सामने आया भ्रष्टचार
कलेक्टर के आदेश के बाद जबलपुर इंजीनियरिंग कॉलेज के सिविल इंजीनियरिंग विभाग के एचओडी डॉ राजीव चांडक ने जांच करते हुए अपना प्रतिवेदन उन्हें सौंप दिया. इस जांच प्रतिवेदन में पाया गया कि पानी की टंकी में कोई लीकेज नहीं था, लेकिन सीढ़ियां गुणवत्ताहीन हैं. कलेक्टर अवि प्रसाद ने तुरंत ठेकेदार को सीढ़ियां तोड़कर नई सीढ़ियां बनाने के निर्देश जारी किए. संबंधित विभाग के अधिकारियों को भी निर्देश का पालन कराने के लिए पाबंद किया गया. इसके बाद अब सीढ़ियों को तोड़ने का काम शुरू हो गया है.
ऐसे पकड़ाया भ्रष्टाचार
कलेक्टर ने पानी की टंकी निर्माण की गुणवत्ता की जांच के लिए संभागीय परियोजना यंत्री, परियोजना क्रियान्वयन इकाई, लोक निर्माण विभाग और कार्यपालन यंत्री जल संसाधन एवं कार्यपालन यंत्री ग्रामीण यांत्रिकी सेवा की 3 सदस्यीय टीम गठित की थी. इस जांच दल ने सीढ़ियों के वेस्ट की मोटाई 130 एमएम से कम लगभग 90 एमएम ही पाया. इसी कारण सीढ़ियों में चढ़ने पर कंपन होता था. टंकी का नॉन डिसट्रेक्टिव टेस्ट व अल्ट्रासोनिक पल्स वैलोसिटी टेस्ट शासकीय इंजीनियरिंग कॉलेज से कराने की अनुशंसा की थी. इसके बाद भ्रष्टाचार सामने आया.
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