Kubereshwar Dham: जबलपुर में पंडित प्रदीप मिश्रा की शिव पुराण कथा स्थगित, सामने आई ये बड़ी वजह
Pradeep Mishra News: इंडियन पीपुल्स पार्टी नेता पुरुषोत्तम तिवारी का कहना है कि उनकी पत्नी ये कथा आयोजित कर रही थीं. इस कथा का राजनीति से कोई लेना-देना नहीं था. फिर भी प्रशासन ने अनुमति नहीं मिली.
Pandit Pradeep Mishra Shiva Purana Katha: मध्य प्रदेश के जबलपुर शहर में होने वाली सीहोर के पंडित प्रदीप मिश्रा की शिव महापुराण कथा रद्द कर दी गई है. कथा के आयोजकों का आरोप है कि प्रशासन ने उन्हें इस आयोजन की अनुमति नहीं दी, जिसके कारण उन्हें यह निर्णय लेना पड़ा. बताया गया है कि इस कथा आयोजन के लिए अभी तक 50 लाख खर्च किए जा चुके हैं.
दरअसल, जबलपुर में 1 से 7 जून तक पंडित प्रदीप मिश्रा की शिव महापुराण कथा एक नई नवेली इंडियन पीपुल्स पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पुरुषोत्तम तिवारी करवा रहे थे. तिवारी ने बुधवार को जबलपुर में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए बताया कि उनकी पत्नी इस कथा की मुख्य अजमान थीं. उनके राजनीतिक दल से इस कथा का कोई लेना देना नहीं था बल्कि यह उनका व्यक्तिगत सामाजिक आयोजन था. पुरुषोत्तम तिवारी ने आरोप लगाया कि तमाम प्रयासों के बावजूद भी प्रशासन ने पंडित प्रदीप मिश्रा की कथा के लिए आवश्यक अनुमति प्रदान नहीं की.
जबलपुर कलेक्टर से मांगा जवाब
इंडियन पीपुल्स पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष पुरुषोत्तम तिवारी ने पंडित प्रदीप मिश्रा की कथा के लिए आवश्यक अनुमति ना मिलने के लिए किसी पर सीधा आरोप तो नहीं लगाया लेकिन उन्होंने इतना जरूर कहा कि जबलपुर कलेक्टर को जवाब देना चाहिए कि इस धार्मिक आयोजन की अनुमति क्यों नहीं दी गई? कथा ना होने से पंडित प्रदीप मिश्रा से जुड़े शिव भक्त नाखुश जरूर है.
बागेश्वर धाम सरकार की कथा भी हो चुकी है कैंसिल
यहां बता दें, यह दूसरा मौका है जब मध्य प्रदेश में किसी प्रसिद्ध कथावाचक की कथा रद्द होने के पीछे राजनीतिक कारण बताए जा रहे हैं. इसके पहले बागेश्वर पीठाधीश्वर पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने मैहर में आयोजित राम कथा अचानक कैंसिल कर दी क्योंकि उसके मुख्य यजमान बीजेपी से बगावत करके अपनी नई पार्टी बनाने वाले विधायक नारायण त्रिपाठी थे. यह कथा मई में होने वाली थी.
इसी तरह अब नई नवेली पार्टी से जुड़े पुरुषोत्तम तिवारी की मेजबानी में हो रही पंडित प्रदीप मिश्रा की कथा समय प्रशासन ने अड़ंगा डाल दिया. वरिष्ठ पत्रकार रविंद्र दुबे का कहना है कि जब जबलपुर में पंडित धीरेंद्र शास्त्री की कथा हो चुकी है तो प्रशासन को बताना चाहिए कि पंडित प्रदीप मिश्रा की कथा के आयोजन की अनुमति ना देने की बड़ी वजह क्या है.
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