Kubereshwar Dham: 'हे भगवान! अब ये दिन न दिखाना...', कुबेरेश्वर धाम पर आए श्रद्धालुओं की ऐसी हुई दुर्दशा, जानें मामला
MP News: पंडित प्रदीप मिश्रा के निमंत्रण पर धार्मिक कार्यक्रम में आए श्रद्धालु खाने-पीने को तरस रहे हैं. आयोजन स्थल पर अफरा-तफरी का माहौल है. उम्मीद से ज्यादा भीड़ कुबेश्वर धाम पहुंच गई है.
Kubereshwar Dham Sehore: राजधानी भोपाल से सटे सीहोर में लाखों श्रद्धालुओं की दुर्दशा हो रही है. सीहोर जिला मुख्यालय के नजदीक कुबेरेश्वर धाम पर 16 फरवरी से 22 फरवरी तक रुद्राक्ष वितरण महोत्सव और शिवमहापुराण कथा का आयोजन हो रहा है. पंडित प्रदीप मिश्रा ने देश भर से श्रद्धालुओं को सीहोर आने का आमंत्रण दिया था. आमंत्रण के बाद लगभग 20 लाख से अधिक श्रद्धालु कुबेरेश्वर धाम पहले ही दिन आ पहुंचे. उम्मीद से ज्यादा तादाद में आए श्रद्धालुओं के कारण व्यवस्था बिगड़ गई.
कुबेरेश्वर धाम आए श्रद्धालु भगवान से कर रहे प्रार्थना
पर्याप्त इंतजाम नहीं होने की वजह से लाखों श्रद्धालु अब खुले आसमान के नीचे रात बिताने को मजबूर हैं. दिन में धूप से बचने के लिए साड़ी की झोपड़ी बनाकर रहने का प्रयास कर रहे हैं. आयोजन स्थल पर अफरा तफरी का माहौल है. श्रद्धालु खाने- पीने को तरस रहे हैं. अव्यवस्थाओं से जूझ रहे श्रद्धालु कहते सुने जा रहे हैं कि भगवान अब ऐसे दिन मत दिखाना.
पंडित प्रदीप मिश्रा के आयोजन स्थल पर अव्यवस्था
सात दिवसीय कथा के पहले दिन अव्यवस्था देख पंडित प्रदीप मिश्रा ने व्यास पीठ से कहा कि लड़की वालों को तो 100 बारातियों का अनुमान था, क्या मालूम था कि 500 बाराती आ जाएंगे. महाराष्ट्र निवासी एक महिला की मौत के बाद पंडित प्रदीप मिश्रा ने कथा के दौरान व्यास पीठ से प्रवचन दिया. उन्होंने कहा कि मौत आनी होगी तो आएगी ही. काशी में एक घर ऐसा है, जहां लोग मरने जाते हैं. अंतिम अवस्था में भजन कीर्तन करो. एक महीने में मर गए तो ठीक, नहीं तो वापस घर भेजते हैं. उन्होंने आगे कहा कि भगवान शंकर के भक्त की मौत पर संसार के लोग भले ही रोते हों पर देवता उस पर पुष्प बरसाते हैं.