Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनाव (MP assembly election) को 1 वर्ष का समय बचा है. ऐसी स्थिति में सरकार को अपनी घोषणाएं पूरी करने के लिए अधिक दिन नहीं मिलने वाले हैं. प्रदेश के कई जिलों में सरकार की विकास योजनाएं चींटी की चाल से चल रही हैं. ऐसे में विधानसभा चुनाव के पहले सभी घोषणाएं पूरी होना संभव नहीं दिखाई दे रहा है.


मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) ने मध्य के अलग-अलग जिलों में कई ऐसी घोषणाएं की हैं जो शहर के विकास के लिए अति आवश्यक हैं. हालांकि घोषणाओं को अमलीजामा पहनाने में अभी और वक्त लग रहा है. कई योजनाएं धीमी गति से चल रही हैं जिसके कारण विधानसभा चुनाव के पहले उनका पूरा होना संभव दिखाई नहीं दे रहा है. इनमें मुख्य रूप से कई प्रमुख मार्ग भी शामिल हैं. 


शहरों का नया मास्टर प्लान
जिस प्रकार उत्तर प्रदेश में शहरों का मास्टर प्लान तैयार करके विकास कार्यों को मूर्त रूप दिया जा रहा है, उसी तरह शिवराज सिंह चौहान ने मध्य प्रदेश के सभी जिलों में नया मास्टर प्लान तैयार कर उसके अनुसार विकास कार्य करने की घोषणा की थी. हालांकि मध्य प्रदेश के 52 जिलों में से अधिकांश को मास्टर प्लान का इंतजार है. धर्म नगरी उज्जैन से लेकर रतलाम, मंदसौर और नीमच सहित कई शहरों का मास्टर प्लान लागू होना अभी बाकी है. उज्जैन कलेक्टर आशीष सिंह के मुताबिक नगरी प्रशासन विभाग के पास नया मास्टर प्लान भेज दिया गया है. नए मास्टर प्लान के वापस आने का अभी इंतजार है.


इन मार्गों के निर्माण की गति धीमी 
केंद्र सरकार की महत्वकांक्षी योजना मुंबई दिल्ली कॉरिडोर का काम तेज गति से चल रहा है, लेकिन इस कॉरिडोर से जुड़ने वाले जिलों की सड़कों का काम भी अभी धीमा है. उज्जैन से गरोठ के बीच सड़क का काम धीमा है. अभी भूमि अधिग्रहण का कार्य ही चल रहा है. दिल्ली-मुंबई कॉरिडोर से जोड़ने वाली सड़क मध्य प्रदेश के उज्जैन, रतलाम, मंदसौर जिले को सीधे कॉरिडोर से जोड़ देगी. इस सड़क के काम में भी अभी गति नहीं आई है.


देवास-बदनावर मार्ग के निर्माण का इंतजार
संभागीय मुख्यालय उज्जैन को देवास से जोड़ने वाले फोरलेन का काम भले ही तेज गति से चल रहा है. इस मार्ग का काफी हद तक कार्य पूरा हो गया है, मगर उज्जैन से बदनावर के बीच बनने वाला फोरलेन का कार्य शुरू भी नहीं हो पाया है. इसे लेकर भी सरकार ने घोषणा की थी. सिंहस्थ 2028 के पहले उज्जैन से जुड़ने वाली सभी सड़कों को फोरलेन करने की योजना है. 


मेडिकल कॉलेज की भूमि का चयन भी नहीं
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने उज्जैन में मेडिकल कॉलेज की सौगात देने की घोषणा की है. मेडिकल कॉलेज का काम शुरू होना तो दूर अभी भूमि का चयन भी नहीं हो पाया है. ऐसे में योजना को अमलीजामा पहनाने में कई सालों का वक्त लग सकता है. विकास कार्यों में धीमी गति आने वाले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के लिए बड़ा मुद्दा बन सकती है. 


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