Madhya Pradesh Election 2023 News: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव मतदान से ठीक 8 दिन पहले एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (ADR) ने उम्मीदवारों का रिपोर्ट कार्ड जारी किया है. एडीआर द्वारा जारी रिपोर्ट कार्ड के अनुसार, मध्य प्रदेश की 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ रहे प्रत्याशियों में से बीजेपी के 200 उम्मीदवार करोड़पति हैं. जबकि कांग्रेस के 196 प्रत्याशी करोड़पति हैं. संपत्ति के मामले में बीजेपी उम्मीदवारों से ज्यादा कांग्रेस उम्मीदवारों के पास संपत्ति है. 


एडीआर द्वारा जारी किए गए वित्तीय और आपराधिक मामलों पर उम्मीदवारों के रिपोर्ट कार्ड के मुताबिक, मध्य प्रदेश में महज 10 फीसदी महिला उम्मीदवार हैं. इस बार मध्य प्रदेश में सबसे अधिक आम आदमी पार्टी ने महिला उम्मीदवारों को टिकट देकर चुनावी मैदान में उतारा है. बीजेपी और बीएसपी में सबसे कम महिलाओं उम्मीदवारवों को तवज्जो दी है. रिपोर्ट के अनुसार, कुल 28 उम्मीदवार मध्य प्रदेश में असाक्षर, 6 उम्मीदवारों ने अपनी शैक्षणिक योग्यता जाहिर नहीं की है. 


कांग्रेस उम्मीदवारों की औसत संपत्ति सबसे अधिक
एडीआर द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के अनुसार, प्रदेश के 29 फीसदी उम्मीदवार करोड़पति हैं. उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 2.89 करोड़ रुपए है. कांग्रेस उम्मीदवारों की औसत संपत्ति सबसे ज्यादा है. कांग्रेस उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 13.69 करोड़ रुपए हैं. बीजेपी उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 10.46 करोड़ है. आम आदमी पार्टी के 66 उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 2.76 करोड़, बीएसपी के 181 उम्मीदवारों की औसत संपत्ति 1.96 करोड़ रुपये है. 


3 उम्मीदवारों की संपत्ति 1 हजार से कम
मध्य प्रदेश में बीजेपी के सबसे ज्यादा 200 उम्मीदवार करोड़पति हैं, जबकि कांग्रेस के 196 उम्मीदवार करोड़पति हैं. टॉप-3 करोड़पति उम्मीदवारों की बात करें, तो बीजेपी के चैतन्य कश्यप 296 करोड़ के साथ पहने नंबर पर है. जबकि दूसरे नंबर पर संजय पाठक 242 करोड़ और कांग्रेस के प्रत्याशी संजय शुक्ला 217 करोड़ रुपये की संपत्ति के साथ तीसरे नंबर पर हैं. 3 उम्मीदवारों की संपत्ति 1 हजार रुपए है. 


10 उम्मीदवारों पर दर्ज हैं हत्या के मामले
प्रदेश की 230 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ने वाले 10 प्रत्याशियों पर हत्या के प्रकरण दर्ज हैं, जबकि 17 उम्मीदवारों पर हत्या के प्रयास क मामले दर्ज है. 19 फीसदी उम्मीदवारों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं. इनमें कांग्रेस के 61 उम्मीदवारों पर जबकि बीजेपी के 23 उम्मीदवारों पर आपराधिक मामले दर्ज हैं. बीएसपी के 16 उम्मीदवारों पर दर्ज आपराधिक मामले हैं. 24 उम्मीदवारों पर महिला अत्याचार के मामले भी दर्ज है. वहीं मध्य प्रदेश में आदिवासी आबादी और महिलाओं पर सभी पार्टियों का फोकस था, लेकिन उन्हें सिर्फ 10 फीसदी ही टिकट दिया गया.