MP Election 2023: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में जीत हासिल करने के लिए भारतीय जनता पार्टी एड़ी-चोटी का जोर लगा रही है. प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) हर दिन आठ से 10 सभाएं कर रहे हैं, जबकि केंद्रीय नेतृत्व में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi), गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) सहित कई केंद्रीय मंत्रियों ने मध्य प्रदेश में डेरा जमा रखा है. साथ ही हर दिन अलग-अलग क्षेत्रों का दौरा कर जनसभा को संबोधित कर रहे हैं, लेकिन ऐसे में भोपाल सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर (Pragya Singh Thakur) ने विधानसभा चुनावों से दूरी बना रखी है. अब उनकी यह दूरी सियासी चर्चाओं का कारण बनी हुई है.
सूत्रों के मुताबिक, वे बीमार हैं और मुंबई में हैं, लेकिन पार्टी के अंदर से आ रही खबरें कहती हैं कि भोपाल के कुछ पार्टी उम्मीदवारों ने अनुरोध किया था कि वह अपने क्षेत्र में प्रज्ञा ठाकुर के बिना भी प्रचार कर सकते हैं. उनके आने से समीकरण बदल सकते हैं, इसीलिए उनका नाम स्टार प्रचारकों में भी शामिल नहीं था. बता दें कि अपने तीखे बयानों से प्रज्ञा चर्चा में रही हैं, उनके भाषण कट्टर होते हैं और भोपाल में बड़ी संख्या अल्पसंख्यकों की है. दरअसल, भोपाल लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आठ विधानसभा सीटें आती हैं. इनमें बैरसिया, भोपाल उत्तर, नरेला, भोपाल दक्षिण-पश्चिम, भोपाल मध्य, गोविंदपुरा, हुजूर और सीहोर विधानसभा शामिल हैं.
दिग्विजय सिंह को दी थी मात
इन आठ विधानसभा सीटों में 2018 के चुनाव में तीन पर कांग्रेस विधायक, जबकि बाकी पांच पर बीजेपी का कब्जा था. जबकि, 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में बीजेपी की ओर से प्रज्ञा सिंह ठाकुर प्रत्याशी थीं और कांग्रेस से पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह मैदान में थे. इस चुनाव में प्रज्ञा सिंह ठाकुर को आठ लाख 66 हजार 482 वोट मिले थे, जबकि दिग्विजय सिंह को 5 लाख 1 हजार 600 मत प्राप्त हुए थे. इस तरह प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने यह चुनाव 3 लाख 64 हजार 822 मतों से जीत लिया था. चुनाव हारने के बावजूद भी पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह मध्य प्रदेश में तेजी से सक्रिय थे, जबकि विधानसभा चुनाव के दौरान भी सांसद प्रज्ञा सिंह ठाकुर ने भोपाल संसदीय क्षेत्र से ही दूरी बनाई हुई थी.