MP: पुलवामा के शहीद को भूली MP सरकार! हाईकोर्ट ने चीफ सेक्रेटरी से मांगा जवाब
MP High Court: एमपी सरकार ने पुलवामा हमले में शहीद हुए सीआरपीएफ जवान के परिवार को किया वादा नहीं निभाया तो हाईकोर्ट ने जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए मुख्य सचिव को नोटिस जारी किया है.
Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश हाईकोर्ट (MP High Court) ने राज्य शासन से पूछा है कि पुलवामा हमले में शहीद हुए सीआरपीएफ जवान अश्विनी काछी के परिवार से किया वादा क्यों पूरा नहीं किया गया? चीफ जस्टिस रवि मलिमठ और जस्टिस विशाल मिश्रा की खंडपीठ ने प्रदेश के मुख्य सचिव को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. याचिका पर सुनवाई अगले सप्ताह निर्धारित की गई है.
दरअसल, स्थानीय अखबारों में एक खबर प्रकाशित हुई थी, जिसमें बताया गया कि पुलवामा के शहीद अश्विनी काछी के परिवार ने उनकी प्रतिमा स्वयं के व्यय पर स्थापित की है. शहीद में भाई सुमंत काछी और भतीजी प्रियंका काछी ने बताया कि प्रतिमा के निर्माण में साढ़े छह लाख रुपये व्यय हुए थे. अंतिम संस्कार और प्रतिमा अनावरण के समय प्रशासनिक अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों ने शहीद के नाम पर स्कूल और प्रतिमा स्थल पर पार्क बनाने की घोषणा की थी. यह घोषणा अभी तक पूरी नहीं हुई है.
बुधवार को थी पुलवामा हमले की पांचवीं बरसी
इस संबंध में प्रकाशित खबर को संज्ञान में लेते हुए हाईकोर्ट ने मामले की सुनवाई जनहित याचिका के रूप में करने के निर्देश दिए थे. खबर में यह भी बताया गया कि शहादत दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में कोई प्रशासनिक अधिकारी और जनप्रतिनिधि शिरकत करने नहीं आता है. पुलवामा हमले की पांचवीं बरसी पर बुधवार (14 फरवरी) को शहीद की प्रतिमा में माल्यार्पण करने परिजनों के साथ सेना के अधिकारी और गांव के लोग पहुंचे थे. परिजनों ने शहीद की याद में कन्या भोज का आयोजन भी किया था.
सरकार और प्रशासन की ओर से जो वादा किया गया था, उसे पूरा नहीं किया गया. इतना ही नहीं, सरकार द्वारा परिजनों को जो आवास दिया गया है, उसकी दशा भी दयनीय है. सरकार ने पुलवामा हमले में शहीद हुए सीआरपीएफ जवान अश्विनी काछी के परिवार को किया वादा नहीं निभाया तो हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस रवि विजय कुमार मलिमथ और जस्टिस विशाल मिश्रा की युगलपीठ ने जनहित याचिका की सुनवाई करते हुए मुख्य सचिव को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है.