अब हुआ बोरवेल हादसा तो जमीन के मालिक की खैर नहीं! सीधे दर्ज होगी FIR, एमपी में लागू हुआ ये नया नियम
Borewell Drilling Law in MP: मध्य प्रदेश सहित पूरे देश में हालिया सालों में कई लोग बोरवेल हादसों में अपनी जान गंवा चुके हैं. इन घटनाओं पर रोकथाम के लिए मध्य प्रदेश सरकार ने एक कानून बनाया है.
MP News Today: देशभर बीते एक दशक में बोरवेल हादसों में 16 हजार से अधिक लोग अपनी जान गंवा चुके हैं. बोरवेल से होने वाली मौतों के मामलों में मध्य प्रदेश भी अछूता नहीं है. यही वजह है कि अब बोरवेल में इंसानों के गिरने से होने वाली दुर्घटनाओं पर लगाम लगाने के लिए मध्य प्रदेश सरकार ने रोकथाम एवं सुरक्षा अधिनियम-2024 कानून बनाया है.
यह कानून पूरे प्रदेश में क्रियाशील हो चुका है. इस अधिनियम के तहत, बोरवेल (नलकूप) के ड्रिलिंग के समय ड्रिलिंग एजेंसी के जरिये समुचित सुरक्षा उपाय नहीं करने पर किसी भी दुर्घटना की स्थिति में संबंधित एजेंसी के साथ भूमि स्वामी के विरूद्ध दंडात्मक कार्रवाई करने का प्रावधान हैं.
लापरवाही बरतने पर होगी कड़ी कार्रवाई
बोरवेल या नलकूप के लिए ड्रिलिंग के समय या बाद में कोई दुर्घटना होती है तो संबंधित एजेंसी और भूमि स्वामी के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी. ड्रिलिंग एजेंसी और भूमि स्वामी अगर सुरक्षात्मक उपाय के निर्देश का अनुपालन करने में नाकाम रहते हैं तो प्रथम अपराध के लिए रुपये 10 हजार तक और प्रत्येक पश्चातवर्ती अपराध के लिए 25 हजार रुपये तक का जुर्माना देना पड़ सकता है.
दूसरी तरफ दुर्घटना या मृत्यु की स्थिति में दोष सिद्ध होने पर भारतीय न्याय संहिता 2023 की धारा 100, 105, 106 और 110 के प्रावधान अनुसार दण्डित किया जाएगा. दुर्घटना के दौरान किसी व्यक्ति के बचाव के लिए हुए खर्चे को ड्रिलिंग एजेंसी या फिर भूमि स्वामी से वसूल किया जाएगा.
इन बोरवेल को 90 दिन में करना होगा बंद
इस अधिनियम के अधीन पारित किसी आदेश के विरुद्ध 30 दिन की अवधि में अपील की जा सकेगी. ड्रिलिंग एजेंसी को बोरवेल या नलकूप की ड्रिलिंग से पहले निर्धारित वेब पोर्टल पर डाटा भरकर ड्रिल करने के लिए अनुमति लेनी होगी. ड्रिलिंग एजेंसी को ड्रिलिंग स्थल और भूमि स्वामी के बारे में पूरी जानकारी देनी होगी.
शिकायतकर्ता को मिलेगा इनाम
ड्रिलिंग के दौरान और उसके पूरा होने के बाद सुरक्षात्मक उपाय सुनिश्चित करना होगा. निष्क्रिय बोरवेल (नलकूपों) को 3 महीने के अंदर भूमि स्वामी के जरिये बंद करना होगा. भूमि स्वामी या ड्रिलिंग एजेंसी सक्षम प्राधिकारी के निर्देश पर बोरवेल (नलकूप) में कैप नहीं करते हैं तो जुर्माना वसूला जाएगा.
इस राशि को शिकायतकर्ता को पुरस्कार में दिया जाएगा. खुले बोरवेल में सक्षम अधिकारी खुद या दूसरे किसी व्यक्ति के जरिये मिली रिपोर्ट या शिकायत प्राप्त होने पर संज्ञान ले सकेंगे. शिकायत सही पाये जाने पर शिकायतकर्ता को इनाम दिया जाएगा.
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