MP Death Case : भोपाल में दो दिन पहले एक सीवेज लाइन के मैनहोल की गहराई मापने गए एक इंजीनियर सहित दो कर्मचारियों की मौत के मामले में कंपनी के अधिकारियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने के निर्देश दिए गए हैं. ये निर्देश मध्य प्रदेश के नगरीय एवं आवास मंत्री भूपेंद्र सिंह द्वारा दिए गए हैं. मामला गुजरात की एक कंपनी से जुड़ा है. मध्य प्रदेश जनसंपर्क विभाग की ओर से मिली जानकारी के अनुसार मंत्री भूपेंद्र सिंह ने पुलिस आयुक्त को लिखे पत्र में कहा है कि सीवेज परियोजना में अंकिता कंस्ट्रक्शन के दो कर्मचारियों की मौत के मामले में भोपाल नगर निगम आयुक्त की ओर से की गई प्राथमिक जांच में सुरक्षा मानकों में कमी पाई गई है.
नाबालिग था मृतक श्रमिक
उन्होंने कहा कि जांच में यह सच्चाई भी सामने आई है कि मृतक श्रमिक नाबालिग था, इससे साफ है कि अंकिता कंस्ट्रक्शन कंपनी द्वारा आपराधिक कृत्य किया गया है. मामले की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए कंपनी के जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ गंभीर अपराध करने और नाबालिग श्रमिक को कार्य पर रखने के लिए प्राथमिकी दर्ज कर आवश्यक कार्रवाई की जाए.
मुआवजा देने का निर्देश
इतना ही नहीं उन्होंने भोपाल नगर निगम आयुक्त को हादसे में मारे गए लोगों के परिजनों को 10-10 लाख रुपये बतौर मुआवजा देने के निर्देश दिए हैं. आपको बता दें कि अंकिता कंस्ट्रक्शन ने 2018 में सीवेज लाइन बिछाने के लिए भोपाल नगर निगम से अनुंबध किया था. बता दें कि राजधानी भोपाल के लाऊखेड़ी इलाके में 13 दिसंबर को सीवेज लाइन के मैनहोल की गहराई मापने गए कंपनी के फील्ड इंजीनियर दीपक कुमार सिंह और नाबालिक श्रमिक भरत सिंह की मौत हो गई थी.
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