Jabalpur Church Land Scam: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के जबलपुर (Jabalpur) के सबसे बड़े चर्च लैंड स्कैम (Church Land Scam) में हर दिन नए खुलासे हो रहे हैं. इस मामले में मुख्य आरोपी जबलपुर डायोसिस के बिशप पीसी सिंह (Bishop PC Singh) ने फर्जीवाड़े की तमाम सीमाएं लांघ दी थीं. बिशप पीसी सिंह ने न सिर्फ अपने बेटे पीयूष को मोटी तनख्वाह पर चर्च के एक स्कूल का प्रिंसिपल बनाया था, बल्कि अपनी पत्नी नोरा सिंह को भी अवैध लाभ दिलवाया था. 'द बोर्ड ऑफ एजुकेशन चर्च ऑफ नॉर्थ इंडिया' जबलपुर डायोसिस ने आर्थिक अनियमितताओं से घिरे बिशप पीसी सिंह और उसके परिवार के सभी अधिकार छीन लिए हैं.

 

ईओडब्ल्यू के शिकंजे में घिरे बिशप पीसी सिंह, उसकी पत्नी नोरा सिंह और बेटे पियूष पाल की मुसीबतें कम नहीं हो पा रही हैं. डायोसिस ने बिशप, उसकी पत्नी और बेटे पर शैक्षणिक संस्थाओं के साथ-साथ बैंकों में हस्ताक्षर किए जाने पर रोक लगा दी है. संस्थाओं ने बिशप पीसी सिंह को हटाकर उसके स्थान पर बुशली थंगादुरई को मॉडरेटर नियुक्त किया गया है और सभी अधिकार उन्हें दे दिए गए हैं. वहीं बिशप पीसी सिंह के कारनामों की पड़ताल में उजागर हुआ है कि उसकी पत्नी नोरा सिंह एक बार में चर्च की 8 संस्थानों से सैलरी लेती थी. बिशप पीसी सिंह ने अपने पद का दुरुपयोग करते हुए अपनी पत्नी नोरा सिंह को चर्च के स्कूलों सहित 8 संस्थाओं का मैनेजर बना दिया था, जिनसे हर माह उसे मोटी तनख्वाह मिलती थी.

 


 

पीसी सिंह ने 6 साल में ही ली थी 56 लाख रुपयों की सैलरी

 

पीसी सिंह की पत्नी जबलपुर में चर्च के आशा विकास केन्द्र की डायरेक्टर, शिशु संगोपन गृह की डायरेक्टर, क्राईस्ट चर्च आईसीएससी स्कूल की मैनेजर, क्राईस्ट चर्च गर्ल्स स्कूल की मैनेजर, जबलपुर से 100 किलोमीटर दूर स्थित कटनी के बाडस्ले स्कूल की मैनेजर, 90 किलोमीटर दूर स्थित दमोह के मिशन स्कूल की मैनेजर और 325 किलोमीटर दूर स्थित बिलासपुर के बर्जेस गर्ल्स हॉस्टल की भी मैनेजर थी. इन सभी जगह बाकायदा काम करना बताकर, उसे सभी स्कूलों और संस्थाओं से हर माह सैलरी दी जाती थी. बिशप पीसी सिंह ने 6 साल में ही चर्च की अलग-अलग संस्थाओं में एक साथ नौकरी करके 56 लाख रुपयों की सैलरी ली थी. इनकी बिनाह पर चर्च ऑफ इंडिया के ट्रस्टी और शिकायतकर्ता एडविन लाल ने कार्रवाई की मांग की है. शिकायतकर्ता के मुताबिक इस तरह के अवैध लाभ उठाना बिशप का शगल था. 

 

सबूतों को जुटा रही है ईओडब्ल्यू 

 

ईओडब्ल्यू की जांच का दायरा बढ़ाया जाए तो बिशप पीसी सिंह का 10 हजार करोड़ का घोटाला सामने आएगा. दूसरी तरफ मामले की जांच कर रही ईओडब्ल्यू फिलहाल सुबूतों को जुटा रही है. बिशप द्वारा संस्था के नाम पर बैंकों से लोन लेकर स्वयं के उपयोग में लाए जाने की जानकारी उजागर होने पर डायोसिस की ओर से संस्था के जितने भी अकाउंट इंडियन ओवरसीज बैंकों में थे, उन सभी का अकाउंट होल्डर बुशली थंगादुरई को नियुक्त किया गया है. डायोसिस द्वारा जारी आदेश में क्राइस्ट चर्च गर्ल्स स्कूल में बिशप की पत्नी नोरा सिंह की जगह प्रीति थंगादुरई और क्राइस्ट चर्च ब्वॉयज हॉस्टल में एमएल साठे को सह-हस्ताक्षरकर्ता नियुक्त किया गया है. इसके साथ ही क्राइस्ट चर्च स्कूल ब्वॉयज एंड गर्ल्स आईसीएससी के प्राचार्य पियूष पाल और नीरज डेविड से भी हस्ताक्षर के अधिकार छीन लिए गए हैं.