Indore News: इंदौर मेट्रो ट्रेन (Indore Metro) के सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर पर रेल लाइन बिछाने का काम शुरू हो गया है. सांसद शंकर लालवानी (Shankar Lalwani) ने विधि विधान के साथ इस काम की शुरुआत की. जमीन से करीब 40 फीट ऊपर बने वायडक्ट में पटरियां बिछाने का काम शुरू कर दिया गया है. क्रेन की सहायता से पटरियों को पहले ऊपर ले जाया जाता है और एक विशेष वेल्डिंग मशीन से इन्हें आपस में वेल्ड किया जाता है. सांसद शंकर लालवानी ने बताया कि मेट्रो का काम बेहद तेजी से चल रहा है और पटरियां बिछाने की शुरुआत हो गई है.


मेट्रो कि इन पटरियों को जोड़ने के लिए अत्याधुनिक तकनीक का उपयोग किया जा रहा है और यह रेलवे लाइन से काफी अलग तकनीक पर बिछाई जा रही है. सांसद शंकर लालवानी करीब 40 फीट ऊपर बने ट्रैक पर क्रेन में बैठकर पहुंचे और मेट्रो के अधिकारियों से इसकी पूरी कार्यप्रणाली को विस्तृत रूप से समझा.


पहली जॉय राइड सितंबर 2023 में
इंदौर में छह कोच की मेट्रो ट्रेन दौड़ेगी जिसके लिए पहली जॉय राइड सितंबर 2023 में प्लान की गई है. मेट्रो के प्रायोरिटी कॉरिडोर के सबसे पहले चार स्टेशन रेडिसन, विजयनगर, सुपर कॉरिडोर-3 और भंवरासला आदर्श स्टेशन बनेंगे. बाकी स्टेशनों में यही चार डिजाइन कॉपी की जाएगी.


7500 करोड़ की लागत से बन रही है मेट्रो
इंदौर मेट्रो की लागत 7500.80 करोड़ है. इसमें 20 प्रतिशत हिस्सेदारी भारत सरकार की, 20 प्रतिशत राज्य सरकार की होगी और बाकी निर्माण के 60 प्रतिशत  राशि बैंक लोन के जरिए ली जाएगी. एमपीएमआरसीएल के अधिकारियों का दावा है 16 स्टेशन और 10.9 किमी के वायडक्ट को आरवीएनएल द्वारा तैयार किया जा रहा है. मेट्रो का डिपो गांधीनगर में रहेगा. इंदौर मेट्रो के लिए कोच के लिए 683 करोड़, सिग्नलिंग और ट्रेन कंट्रोल के साथ टेलीकम्युनिकेशन सिस्टम के लिए 372 करोड़ जबकि स्काडा के लिए 516 करोड़ सहित कुल 1571 करोड़ के टेंडर जारी किए गए हैं. इंदौर में छह कोच की ट्रेन दौड़ेगी. इसमें हर कोच में 250 पैसेंजर सवार हो सकेंगे. इंदौर में.मेट्रो को अंडरग्राउंड चलाने की भी तैयारी है.


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