MP News: 'सत्य साईं यूनिवर्सिटी' ने छात्रों के भविष्य से किया खिलवाड़, बिना मान्यता के करा लिए एडमिशन
Sehore News: आईएनसी से मान्यता मिले बगैर ही यूनिवर्सिटी ने सैकड़ों छात्रों का मेडिकल कोर्स में एडमिशन कर लिया, अब छात्रों ने उग्र आंदोलन की चेतावनी दी है.
Sehore News: सीहोर जिले की सत्य साईं यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नोलॉजी एंड मेडिकल साइंस में पढ़ रहे छात्र-छात्राओं का भविष्य अंधकार में नजर आ रहा है. ऐसा इसलिए क्योंकि सत्य साईं विश्वविद्यालय में उन कोर्सों को भी पढ़ाया जा रहा है, जिनकी कॉलेज को मान्यता नहीं मिली है. नर्सिंग भी उन्हीं कोर्सों में से एक है. विश्विद्यालय में इंडियन नर्सिंग कॉउंसिल आईएनसी की मान्यता के बगैर ही छात्रों को नर्सिंग पढ़ाई जा रही है. बिना मान्यता के ही यहां पर बच्चों का एडमिशन कर दिया गया. इस साल भी करीब 80 छात्र-छात्राओं का एडमिशन किया गया था, लेकिन बाद में 9 बच्चों ने एडमिशन नहीं लिया. वर्तमान में यहां पर नर्सिंग में 71 छात्र-छात्राएं प्रथम वर्ष में अध्ययनरत हैं. तो वहीं द्वितीय वर्ष में 18 एवं तृतीय वर्ष में 4 स्टूडेंट पढ़ाई कर रहे हैं.
पूछने पर दिखा दिया जाता था फर्जी मान्यता पत्र
जब आईएनसी की टीम कॉलेज का निरीक्षण करने के लिए आई तो कई छात्र-छात्राओं को ही मरीज बनाकर अस्पताल में भर्ती करा दिया गया. जब छात्र मान्यता के बारे में पूछते थे तो उन्हें फर्जी मान्यता पत्र दिखा दिया जाता था, ताकि वे कोई हंगामा या शिकायत नहीं करें. अब जब छात्र-छात्राओं को यूनिवर्सिटी की सारी कहानी पता चली और उन्होंने हंगामा शुरू कर दिया. शुक्रवार को नर्सिंग के छात्र-छात्राओं ने विवि के कॉलेज परिसर में जमकर हंगामा किया. छात्रों ने आरोप लगाया कि जब यूनिवर्सिटी के पास मान्यता नहीं थी तो फिर एडमिशन क्यों दिए. छात्रों ने आरोप लगाया कि उन्हें पिछले तीन सालों से स्कॉलरशिप भी नहीं मिली है. छात्रों ने आरोप लगाया कि उन्हें अब तक अस्पताल में ट्रेनिंग के लिए नहीं ले जाया गया. जब अस्पताल ले जाने का कहते हैं तो उन्हें डरा-धमका दिया जाता है.
छात्रों ने कलेक्टर को सौंपा ज्ञापन, दो दिन की दी मोहलत
सच्चाई सामने आने पर जब कॉलेज के छात्रों ने कैंपस में हंगामा किया तो प्रबंधन ने वहां पुलिस को बुलवा लिया. इसक बाद छात्र कलेक्टर ऑफिस पहुंचे. छात्रों ने कलेक्टर चंद्रमोहन ठाकुर से मुलाकात की. इस दौरान एबीपी द्वारा कलेक्टर को एक ज्ञापन भी सौंपा गया है जिसमें कहा गया है कि जब यूनिवर्सिटी के पास आईएनसी की मान्यता नहीं थी तो फिर एडमिशन क्यों दिए गए. एबीपी ने ज्ञापन सौंपकर नर्सिंग के छात्रों को न्याय दिलाने की मांग की है. जल्द कार्रवाई न होने पर छात्रों ने उग्र आंदोलन की चेतावनी दी.
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