Bhopal News: मध्य प्रदेश में मिलावट खोरों पर नकेल कसने के लिए राज्य की शिवराज सरकार ने शुद्धता के लिए युद्ध अभियान की शुरुआत की थी. इस अभियान के तहत शुरुआती दिनों में खाद्य विभाग के अमले ने कुछ कार्रवाईयां भी की थी. इसके बावजूद सरकार का यह अभियान कुछ खास असर नहीं दिखा सका. दीपावली के मौके पर ही राजधानी भोपाल में भोपालवासियों ने अशुद्ध मिठाई का सेवन किया था. खाद्य विभाग द्वारा दीपावली के पहले लिए गए मावे के 14 सैंपलों में से 10 फेल साबित हुए हैं. अब फेल सैंपल के संबंध में एसडीएम कोर्ट में केस चलेंगे.


जानकारी के अनुसार इस दीपावली पर भी मिलावट खोरी का धंधा जमकर चला था. दीपावली के पहले खाद्य विभाग ने अभियान चलाकर दुकानों से खाद्य सामग्रियों के सैंपल लिए थे. इन सैंपलों में 15 सैंपल फेल साबित हुए हैं. इन सैंपलों में सबसे ज्यादा बुरे हाल मावे के रहे. त्योहारी सीजन के दौरान खाद्य विभाग के द्वारा मावे के 14 सैंपल लिए गए थे. हैरत की बात यह है कि 14 सैंपलों में से 10 की रिपोर्ट फैल आई, जबकि दो असुरक्षित साबित हुए. राजधानी भोपाल में दूषित मावे से बनी मिठाईयों का सेवन ही राजधानीवासियों ने किया था.


ग्वालियर-धोलपुर से आया दूषित मावा


गौरतलब है कि इस दीपावली पर राजधानी भोपाल में ग्वालियर, धोलपुर, ब्यावरा और उज्जैन की तरफ से मावा लाया गया था. विभाग द्वारा जो सैंपल लिए वो अधिकांश ग्वालियर, धोलपुर और ब्यावरा क्षेत्र का था. यानी कि ग्वालियर धोलपुर और ब्यावरा क्षेत्र से ही राजधानी भोपाल में दूषित मावे की सप्लाई की गई थी. बता दें कि त्योहारी सीजन पर भोजन में 200 क्विंटल मावा और 80 क्विंटल पनीर की खपत हुई थी. 


नमकीन के भी हाल बेहाल


बता दें कि दीपावली से पहले खाद्य विभाग द्वारा जो सैंपल लिए गए थे, उनमें मावा के 14, मिठाई के 15, पनीर के 03, दूध के 01, नमकीन के 05 और अन्य 02 शामिल है. इनमें से मावा के 10 सैंपल फेल हुए, जबकि मिठाई के दो, पनीर के तीन, अन्य दो, दूध का एक, नमकीन के तो 05 में से 04 सैंपल फेल साबित हुए. मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी देवेन्द्र दुबे के मुताबिक दीपावली त्योहार पर लिए गए सैंपलों की रिपोर्ट प्राप्त हुई. उन्होंने बताया कि फेल सैंपल के संबंध में केसर एसडीएम कोर्ट में चलेंगे.


MP News: धार्मिक कट्टरता फैलाने वाली किताब को लेकर फिर हुआ विवाद, 24 घंटे में जांच कर कार्रवाई के आदेश