Jyotiraditya Scindia News: कल्की पीठ के पीठाधीश्वर आचार्य प्रमोद कृष्णम (Acharya Pramod Krishnam) ने केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) को लेकर एक बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा है कि सिंधिया को कांग्रेस (Congress) ने सभी पदों पर बिठाया था. उन्होंने कहा कि अगर सिंधिया 2018 में मध्य प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष होते तो मैं मुख्यमंत्री पद के लिए उनके नाम का समर्थन करता. उन्होंने यह बात एबीपी लाइव को दिए एक खास इंटरव्यू में कही है.
ज्योतिरादित्य सिंधिया ने क्यों छोड़ी कांग्रेस
उनसे सवाल किया गया था कि मध्य प्रदेश के नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया के बारे में क्या कहेंगे? क्या आपको नहीं लगता कि उन्होंने बेहद विवश होकर कांग्रेस को छोड़ा होगा? इस सवाल के जवाब में प्रमोद कृष्णम ने कहा कि नहीं,ज्योतिराज सिंधिया के साथ कुछ गलत नहीं हुआ.किसने कहा उनके साथ गलत हुआ? उन्हें तो सभी पदों से नवाजा गया.चुनाव के वक्त सिंधिया प्रदेश अध्यक्ष नहीं थे.कमल नाथ प्रदेश अध्यक्ष थे.
उन्होंने कहा कि साल 2018 के विधानसभा चुनाव के वक्त अगर ज्योतिरादित्य सिंधिया कांग्रेस के अध्यक्ष होते, तो मैं सिंधिया के साथ खड़ा होता. लेकिन, चेहरे के रूप में वहां कमलनाथ आगे थे. छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल थे और राजस्थान में सचिन पायलट थे.पंजाब में कैप्टन अमरिंदर सिंह थे. इससे पहले सभी प्रदेश अध्यक्ष को मुख्यमंत्री बनाया गया.सिर्फ राजस्थान में सचिन पायलट को ही मुख्यमंत्री नहीं बनाया गया.सिर्फ पायलट के साथ ही नाइंसाफी हुई. जिसके साथ नाइंसाफी होती है,मेरा फर्ज बनता है कि मैं उसके साथ खड़ा रहूं.घर में भी किसी के साथ नाइंसाफी होती है, तो घर के वरिष्ठ लोगों का या कर्तव्य होता है कि उसके हितों की रक्षा की जाए.
सचिन पायलट और अशोक गहलोत के संबंध कैसे हैं?
उन्होंने कहा कि ज्योतिरादित्य सिंधिया के पिता माधवराव सिंधिया कमलनाथ के साथ थे. ऐसे में ज्योतिरादित्य सिंधिया तो कमलनाथ के लिए बच्चे की तरह है. उनसे पूछा गया कि ऐसे में तो अशोक गहलोत के लिए भी सचिन पायलट भी बच्चे की ही तरह हैं.इसके जवाब में आचार्य प्रमोद ने कहा कि सचिन पायलट भी तो अशोक गहलोत को पिता तुल्य मानते हैं, लेकिन अशोक गहलोत सचिन पायलट को कभी निकम्मा तो कभी नकारा कहते हैं.अशोक गहलोत को थोड़ा दिल बड़ा करना चाहिए.अशोक गहलोत अगर यह फैसला कर लें कि सचिन पायलट के लिए मार्ग प्रशस्त कर रहा हूं तो राजस्थान का अगला मुख्यमंत्री सचिन पायलट होगा और गहलोत देश के सबसे बड़े नेता होंगे.क्योंकि देश त्यागी और तपस्वियों को मान देता है.
उल्लेखनीय है कि तत्कालीन कांग्रेस नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कांग्रेस से बगावत कर दी थी. राज्य सभा चुनाव और मुख्यमंत्री पद को लेकर हुए विवाद के बाद उन्होंने 10 मार्च 2020 को कांग्रेस छोड़ दी थी. उनके साथ समर्थक कांग्रेस विधायक भी बीजेपी में शामिल हो गए थे. इसके बाद 2018 में बनी कांग्रेस के कमलनाथ की सरकार गिर गई थी.
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