Burhanpur Leopard Attack News: मध्य प्रदेश के बुरहानपुर जिले के एक गांव में खूंखार तेंदुए ने बाड़े में बंद बकरियों पर हमला कर दिया. तेंदुए ने इस हमले के दौरान एक दो नहीं बल्कि 25 बकरियों को अपना निशाना बनाया, जिसमें से 19 बकरियों की मौत हो गई. घटना की सूचना मिलते ही वन विभाग अलर्ट हो गया है. 


यह पूरी घटना बुरहानपुर जिला मुख्य से महज 5 किलोमीटर दूर ग्राम हतनुर की है. इस हमले के दौरान तेंदुए ने करीब 25 बकरियों को शिकार बनाया, जिसमें से 19 की मौत हो गई. घटना के बाद क्षेत्र में तेंदुए की दहशत फैल गई है. 


तेंदुए के हमले 19 बकरियों की मौत
बकरी मालिक ने बताया कि देर रात तेंदुआ बकरियों के बाड़े में आया और बकरियों को अपना शिकार बनाना शुरू कर दिया. बकरियों की आवाज सुन ग्रामीण और बकरी मालिक ने बाड़े में जाकर देखा, तब तक तेंदुआ ग्रामीणों की आहट सुनकर भाग निकला.


पीड़ित बकरी मालिक के मुताबिक, इस दौरान तेंदुए ने बाड़े में बंधी हुई 25 बकरियों को घायल कर दिया, जबकि 19 बकरियों को मौत के घाट उतार दिया. घटना की सूचना ग्रामीणों ने वन विभाग को दी. वन विभाग की टीम ने मौके पर पहुंचकर मौके का मुआयना किया.


वन विभाग ने की ये अपील
वन विभाग की टीम ने मौके पर पंचनामा बनाकर वरिष्ठ अधिकारियों को सौंपा है. वन विभाग के एसडीओ अजय सागर ने ग्रामीणों से अपील की है कि अकेले घर के बाहर ना निकलें, जब भी घर से बाहर जाएं तो ग्रुप बनाकर जाएं. उन्होंने बताया कि तेंदुए को पकड़ने के लिए कार्रवाई की जा रही है. ग्रामीणों को सतर्कता बरतने की हिदायत दी गई है.


बाघ रेस्क्यू करने वाले अधिकारी सम्मानित
एक अन्य मामले में रायसेन में बाघ का रेस्क्यू करने वाले एसडीओ सहित 10 वन कर्मियों को मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सम्मानित किया है. टाइगर डे पर आज ये सम्मान दिया गया. सम्मान समारोह कार्यक्रम का आयोजन कुशाभाऊ ठाकरे इंटरनेशनल कन्वेंशन सेंटर भोपाल में हुआ. 


जिसमें एसडीओ सुधीर पटले, रेंजर प्रवेश पाटीदार, डिप्टी रेंजर प्रभात यादव शामिल हुए. यहां 6 महीने तक बाघ की दहशत में रह रहे नगर रायसेन सहित आसपास के ग्रामीणों ने रेस्क्यू के बाद राहत की सांस ली थी. 


बाघ के हमले में एक व्यक्ति की मौत
इन सभी ने कान्हा रिजर्व टाइगर और सतपुड़ा रिजर्व टाइगर की टीमों और 6 हाथियों की टीमों के साथ मिलकर बाघ का रेस्क्यू किया था. बाघ को रायसेन के रॉयल गार्डन से निकलते की वीडियो सामने आने के बाद उसका नाम ही "रॉयल टाइगर" रखा गया था. 


इंदौर के महू से आए इस रॉयल टाइगर ने विगत 15 मई को नीमखेड़ा निवासी मनीराम जाटव पर हमला कर दिया था, जिससे उनकी मौत हो गई थी. पिछले 16 मई से वन विभाग की टीम रॉयल टाइगर को रेस्क्यू करने में लगी थी और 13 जून टीम रेस्क्यू करने में कामयाब रही.


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