PM Modi In Jabalpur: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज 5 अक्टूबर को गोंडवाना साम्राज्य की रानी दुर्गावती की 500वीं जयंती पर जबलपुर पहुंचे हैं. इस दौरान उन्होंने जबलपुर में कई विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया. पीएम मोदी ने अपने संबोधन में जबलपुर के लोगों को रानी दुर्गावती की वीरता के कई किस्से सुनाए.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि, दुनिया के किसी भी देश में अगर रानी दुर्गावती जैसी कोई वीरांगना होती तो वो देश पूरी दुनिया में उछल-कूद करता. आजादी के बाद हमारे देश में भी यही होना चाहिए था, लेकिन हमारे महापुरुषों को भुला दिया गया. उन्होंने आगे कहा, ‘2014 में मोदी आने से पहले क्या हाल था, कांग्रेस के समय में कितने भ्रष्टाचार सामने आते थे. गरीबों का पैसा खाया. हमने करीब 11 करोड़ फर्जी नामों को वोटर लिस्ट से हटाया, ये वो नाम था जिसका कभी जन्म ही नहीं हुआ. 2.5 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा पैसा गलत हाथो में जाता था. हमारे आने से गरीबों का पैसा उनको मिलता है.’
रानी दुर्गावती की स्मृति में चांदी का सिक्का जारी
इसके अलावा रानी दुर्गावती की 500वीं जयंती के अवसर पर प्रधानमंत्री ने जबलपुर में बनने वाले उनके भव्य स्मारक का शिलान्यास, डाक टिकट एवं उनकी स्मृति में चांदी का सिक्का भी जारी किया. पीएम ने कहा कि, जबलपुर में जोश है, महाकौशल में मंगल है, उमंग है, उत्साह है. ये जोश, ये उत्साह दिखाता है कि महाकौशल के मन में क्या है. इसी उत्साह के बीच आज पूरा देश वीरांगना रानी दुर्गावती जी की 500वीं जयंती मना रहा है. पीएम ने आगे कहा कि, रानी दुर्गावती का जीवन हमें सर्वजन हिताय की सीख देता है. आज पूरे आदिवासी समाज को, मध्य प्रदेश और 140 करोड़ देशवासियों को बधाई देता हूं.
माताओं के स्वास्थ्य की फिक्र है- मोदी
बीजेपी की योजनाओं के बारे में बताते हुए पीएम ने कहा कि, भाजपा सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकताओं में से एक है अपनी बहनों को धुंए से मुक्त रसोई देना. कुछ लोगों ने रिसर्च करके कहा है कि जब एक मां धुएं वाले चूल्हे पर खाना पकाती है तो 24 घंटे में उसके अंदर 400 सिगरेट बराबर धुआं जाता है. गरीब परिवार की बहनों को हमने उज्ज्वला का मुफ्त कनेक्शन दिया है. क्या ये काम कांग्रेस पहले नहीं कर सकती थी? उनको माताओं के स्वास्थ्य की फिक्र नहीं थी.
11 करोड़ फर्जी नामों को सरकारी दफ्तरों से हटाया- पीएम
पीएम ने नवजवानों का जिक्र करते हुए कहा कि, आज जो हमारे कॉलेज में पढ़ने वाले विद्यार्थी और नौजवान बेटे-बेटियां हैं, उन्हें कुछ पुरानी बात याद दिलाना चाहता हूँ. जो पैसा गरीब पर खर्च होना था, वो कांग्रेस नेताओं की तिजोरियों में जा रहा था. 2014 से पहले भ्रष्टाचार की खबरें हेडलाइंस बनती थीं. हमने टेक्नोलॉजी के इस्तेमाल से करीब 11 करोड़ फर्जी नामों को सरकारी दफ्तरों से हटाया है. ये वो नाम थे जिसका कभी जन्म ही नहीं हुआ था, लेकिन सरकारी दफ्तर से खजाने लूटने का रास्ता बन गया था. ये मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ की कुल आबादी से भी ज्यादा आंकड़ा है. 2014 में आने के बाद मोदी ने सब कुछ साफ कर दिया.
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