MP News: विधानसभा चुनाव 2023 (Assembly Elections 2023) के ठीक 1 साल पहले महाकालेश्वर मंदिर (Mahakaleshwar Temple) विस्तारीकरण योजना की उपलब्धि और निर्माण कार्यों को लेकर भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस आमने-सामने है. इस मामले को लेकर कांग्रेस समर्थकों की तरफ से एक वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल किया जा रहा है. जिसको लेकर अब दोनों तरफ से कई प्रतिक्रियाएं भी सामने आ रही है.


पीएम मोदी करेंगे उद्घाटन


बता दें कि प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर विस्तारीकरण योजना के प्रथम चरण का कार्य पूर्ण हो चुका है. इस निर्माण कार्य का उद्घाटन करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 11 अक्टूबंर को उज्जैन आ रहे हैं. उद्घाटन के ठीक पहले कांग्रेस समर्थकों की ओर से एक वीडियो जारी किया गया है, जिसमें महाकालेश्वर मंदिर विस्तारीकरण योजना को कमलनाथ सरकार की उपलब्धि बताया जा रहा है. वीडियो में ये दावा किया जा रहा है कि 27 सितंबर 2019 को पर्यटन दिवस के अवसर पर मुख्यमंत्री कमलनाथ ने महाकालेश्वर मंदिर विस्तारीकरण योजना के लिए 300 करोड़ रुपए देने की घोषणा की थी. 



कमलनाथ सरकार से पहले प्रस्तावित थी योजना


इस संबंध में तत्कालीन मंत्री सज्जन सिंह वर्मा, पीसी शर्मा और जयवर्धन सिंह के नेतृत्व में समिति भी बनाई गई थी. महाकालेश्वर मंदिर विस्तार योजना कांग्रेस की देन है. कांग्रेस इस पूरे मामले में श्रेय लेने में पीछे नहीं हट रही है, जबकि गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा पूर्व में ही इस बात को स्पष्ट कर चुके हैं कि महाकालेश्वर मंदिर विस्तारीकरण की योजना कमलनाथ सरकार के आने से पहले की ही प्रस्तावित है. मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पूर्व में ही योजना को स्वीकृत कर दिया था. कांग्रेस की कमलनाथ सरकार के समय डेढ़ साल तक यह योजना ठंडे बस्ते में रही. इसके बाद शिवराज सिंह चौहान ने एक बार फिर मुख्यमंत्री पद पर शपथ लेने के बाद कार्यों को गति दी है. जैसे-जैसे उद्घाटन की घड़ी करीब आ रही है, वैसे वैसे कांग्रेस में और बीजेपी में राजनीतिक सरगर्मियां भी तेज हो रही है. दोनों ही राजनीतिक पार्टियां और उनके समर्थक एक दूसरे पर कटाक्ष कर रहे हैं.


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क्यों भाजपा और कांग्रेस आमने-सामने ?


अभी विधानसभा चुनाव को 1 साल का वक्त बचा है लेकिन अभी से भाजपा और कांग्रेस आमने-सामने हो रही है. इसके मायने बेहद महत्वपूर्ण है. प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग महाकालेश्वर मंदिर का दरबार करोड़ों लोगों की आस्था का केंद्र है. पिछले दो दशक से महाकालेश्वर मंदिर के दरबार से ही राजनीतिक पार्टियां आशीर्वाद लेकर विधानसभा और लोकसभाचुनाव का शंखनाद करती आ रही है. बीजेपी महाकालेश्वर मंदिर के विकास मॉडल को विधानसभा चुनाव में पूर्व मध्य प्रदेश के पटल पर रख कर चुनाव लड़ने जा रही है. मध्य प्रदेश के दूसरे धार्मिक स्थलों को भी इसी तरह सवारने का वादा भी अभी से किया जा रहा है. उच्च शिक्षा मंत्री मोहन यादव के मुताबिक मध्य प्रदेश के दूसरे प्रसिद्ध धार्मिक स्थलों का विकास कार्य भी भविष्य में किया जाने वाला है. दूसरी तरफ कांग्रेस इस विकास मॉडल पर बीजेपी को श्रेय नहीं लेना देना चाहती है कांग्रेस के पूर्व सांसद प्रेमचंद गुड्डू के मुताबिक केंद्र की मनमोहन सरकार ने जवाहर लाल नेहरू शहरी नवीकरण योजना के तहत महाकाल वन प्रोजेक्ट तैयार कर राशि स्वीकृत की थी, जिसे कमलनाथ सरकार ने आगे बढ़ाया. बीजेपी सरकार केवल श्रेय की राजनीति कर रही है.


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