'तीसरे विश्व युद्ध की संभावना बरकरार, 'पूरी दुनिया को भारत से उम्मीद', मोहन भागवत का बयान
Mohan Bhagwat News: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) प्रमुख मोहन भागवत ने कहा कि वैज्ञानिक युग में भी शस्त्रों का व्यापार बढ़ रहा है. यही वजह है कि तीसरे विश्व युद्ध की संभावना आज भी बरकरार है.
RSS Chief Mohan Bhagwat: राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत योगमणि ट्रस्ट जबलपुर द्वारा आयोजित स्व. डॉ. उर्मिला ताई जामदार स्मृति व्याख्यानमाला में शामिल हुए. इस अवसर पर 'वर्तमान में विश्व कल्याण के लिए हिंदुत्व की अहमियत' पर उन्होंने खुलकर अपने विचार रखे.
इस दौरान मोहन भागवत ने वैश्विक स्तर पर बड़ा बयान दिया. उन्होंने तीसरे विश्व युद्ध की संभावना पर उन्होंने कहा है कि पूरी दुनिया वैश्विक शांति के लिए भारत की ओर आशापूर्ण निगाहों से देख रही है. उन्होंने कहा कि अभी तक दो विश्व युद्ध हुए हैं. दोनों विश्व युद्ध के दौरान बड़े पैमाने पर नरसंहार के बावजूद एक बार फिर तीसरे विश्व युद्ध की संभावना बनी हुई है.
'कुछ लोग बेवजह विवाद पैदा करते हैं'
आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के मुताबिक, 'भारत विश्व गुरु हो ऐसा सब चाहते हैं, लेकिन कुछ लोग अपने स्वार्थ के चलते अड़ंगे डाल रहे हैं. भारत रास्ता दिखाएगा कहूं तो सही. वहीं, अगर बोलूं कि हिंदुत्व रास्ता दिखाता है तो विवाद हो जाता है.'
आरएसएस के सर संघचालक भागवत ने कहा कि धर्म और राजनीति की अवधारणा को व्यवसाय बना दिया गया है. वैज्ञानिक युग आने के बाद भी शस्त्रों का व्यापार बढ़ रहा है. यही वजह है कि दो विश्व युद्ध हुए. विश्व दो विचारधारा में बंट गया. एक आस्तिक और एक नास्तिक. आज इसीलिए पूरा विश्व आत्मिक शांति के लिए भारत की ओर आशापूर्ण निगाहों से देख रहा है.
'हमने अपने ज्ञान को भुला दिया'
पहले की तुलना में आज विश्व की स्थिति समृद्ध है. लोगों के पास ज्ञान है पर उसके पास मानवता के कल्याण मार्ग नहीं है. भारत भी अब इस दृष्टि से संपन्न है लेकिन अब उसने अपने ज्ञान को भुला दिया है. लंबी सुख सुविधाओं और शांतिपूर्ण जीवन उसका मुख्य ध्येय बन गया, जो गलत है. यह याद रखना होगा कि गुलामी के दौर वाली सोच से बाहर निकलना होगा.
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