Sartaj Singh Death: पूर्व केंद्रीय मंत्री और मध्य प्रदेश सराकर में मंत्री रहे सरताज सिंह (Sartaj Singh) का गुरुवार (12 अक्टूबर) को 85 साल की उम्र में निधन हो गया. उन्होंने भोपाल में अंतिम सांस ली है. सरताज सिंह 5 बार सांसद और दो विधायक बार विधायक रहे हैं. अटल बिहारी वाजपेयी की 13 दिन की सरकार में वे केन्द्रीय मंत्री भी रहे थे.
भारत-पाकिस्तान के विभाजन के बाद सरताज सिंह का परिवार इटारसी आकर बस गया था. पहली बार 1971 में सरताज सिंह इटारसी नगर पालिका के कार्यवाहक नगर पालिका अध्यक्ष बने थे. वे अटल बिहारी वापजेयी की 13 दिन की सरकार में केन्द्रीय मंत्री रहे. 2008 से 2016 तक मप्र सरकार में मंत्री रहे.
5 बार रहे सांसद, 2 बार विधायक
सरताज सिंह 5 बार सांसद व 2 बार विधायक रहे हैं. 1989 से 1996 की अवधि में उन्होंने नर्मदापुरम संसदीय सीट से लगातार तीन बार रामेश्वर नीखरा को हराया, जबकि 1998 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने कांग्रेस प्रत्याशी अर्जुन सिंह को हराया, जबकि 2004 में भी वे लोकसभा चुनाव विजयी हुए. वे दो बार विधायक रहे. 2008 में होशंगाबाद जिले की सिवनी मालवा विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा और कांग्रेस प्रत्याशी हजारीलाल रघुवंशी को हराया. 2013 के विधानसभा चुनाव में फिर जीते और मंत्री बने. 2018 का चुनाव में सीतासरण शर्मा से हार गए थे.
ज्योतिरादित्य सिंधिया के बीजेपी में जाने को बताया था सही फैसला
गौरतलब है कि साल 2018 के विधानसभा चुनाव के बाद कांग्रेस में रहते हुए सरताज सिंह ने ज्योतिरादित्य सिंधिया के दल बदलने को ठीक बताया था. उन्होंने कहा था कि वे इस फैसले में सिंधिया के साथ हैं. तब ऐसे कयास लगाए जा रहे थे कि शायद सरताज सिंह भी बीजेपी में वापसी करें. हालांकि, उन्होंने तुरंत ऐसा नहीं किया था. उप चुनाव के बाद भोपाल के दशहरा मैदान में आयोजित BJP के किसान सम्मेलन में सरताज सिंह पार्टी में वापस आए थे.