Mahakal Bhasma Aarti: सावन के चौथे सोमवार भगवान महाकाल की भव्य भस्म आरती, दिन भर होगा जलाभिषेक, उमड़ा भक्तों का सैलाब
Sawan 2023: सावन के चौथे सोमवार भगवान महाकाल की भस्म आरती के साथ आराधना का सिलसिला शुरू हो गया है, जो कि शयन आरती तक लगातार चलता रहेगा. आज लाखों श्रद्धालु भगवान का आशीर्वाद लेने पहुंच रहे हैं.
Mahakal Bhasma Aarti In Mahakaleshwar Mandir: उज्जैन (Ujjain) के महाकालेश्वर मंदिर (Mahakaleshwar Mandir) में सवान महिने के चौथे सोमवार भगवान महाकाल का विधि विधान से पूजन किया गया. राजाधिराज भगवान महाकाल की भस्म आरती हुई, जिसमें देशभर के श्रद्धालु शामिल हुए. आज दिन भर भगवान महाकाल का जलाभिषेक होगा. द्वादश ज्योतिर्लिंगों में तीसरे स्थान पर विराजित भगवान महाकालेश्वर की सावन महिने के चौथे सोमवार भस्म आरती से आराधना की शुरुआत हुई.
भगवान महाकाल के कपाट खुलने के बाद सबसे पहले पंडित और पुरोहितों द्वारा भगवान को जल चढ़ाया गया, जिसके बाद उनकी विधि विधान से पूजा की गई. भस्म आरती से पहले भगवान महाकाल को दूध, दही, शहद, शक्कर और फलों के रस से स्नान कराया गया. इसके बाद भगवान महाकाल का भांग, सूखे मेवे, अबीर, गुलाल और चंदन आदि से श्रृंगार किया गया. इसके बाद भगवान महाकाल की भव्य भस्म आरती हुई.
सावन के सोमवार को खुल जाते हैं जल्दी कपाट
दोसा से भगवान महाकाल के दरबार में पहुंचे रोहित ने बताया कि सावन महिने में भगवान महाकाल के दर्शन का विशेष महत्व है. वो पिछले कई सालों से सावन में दर्शन करने के लिए आ रहे हैं. आज चौथे सोमवार उन्हें भस्म आरती में शामिल होने का अवसर मिला, वो खुद को सौभाग्यशाली मानते हैं. महाकालेश्वर मंदिर समिति के प्रशासक संदीप सोनी ने बताया कि सावन महिने के प्रति सोमवार भगवान महाकाल के पट रात 2:30 बजे खुल जाते हैं.
संदीप सोनी ने बताया कि आम दिनों में भस्म आरती का समय भी थोड़ा परिवर्तित हो जाता है. उन्होंने बताया कि काफी वर्षों से यही परंपरा चली आ रही है. सावन महिने के प्रति सोमवार भस्म आरती में हजारों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन करते हैं. श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए चलित भस्मारती भी शुरू की गई है. जो श्रद्धालु विधिवत अनुमति नहीं ले पाते हैं उन्हें चलित भस्मारती के माध्यम से भी दर्शन कराए जा रहे हैं. सावन के सोमवार ढाई लाख से ज्यादा श्रद्धालु मंदिर में दर्शन कर रहे हैं.
आज चार बजे निकलेगी सवारी
सावन और भादो महिने में भगवान महाकाल प्रजा का हाल-चाल जानने के लिए नगर भ्रमण पर निकलते हैं. सावन के चौथे सोमवार भगवान महाकाल की सवारी शाम चार बजे निकलेगी. सवारी में भी लाखों की संख्या में श्रद्धालु सम्मिलित होते हैं, जिसे देखते हुए जिला प्रशासन और पुलिस विभाग द्वारा व्यापक पैमाने पर तैयारियां की जाती हैं. महाकालेश्वर मंदिर में भस्म आरती के बाद दिनभर जल चढ़ाया जाएगा.
इसके अलावा प्रातः कालीन आरती, भोग आरती, संध्या कालीन आरती और शयन आरती होगी. भगवान महाकाल नगर भवन पर निकलेंगे, इस दौरान भी मंदिर में सतत दर्शन जारी रहेंगे.