Shivraj Singh Chouhan News: केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) शनिवार को दिल्ली स्थित इंडियन एग्रीकल्चर रिसर्च इंस्टिट्यूट (ICAR) की राष्ट्रीय संगोष्ठी और पूर्व छात्रों के मिलन समारोह को संबोधित कर रहे थे. अपने संबोधन के दौरान वह कुछ ऐसा बोल गए कि सभागार में ठहाके गूंजने लगे. आइए जानते हैं क्या है पूरा मामला...


कार्यक्रम के दौरान शिवराज ने कहा, ''मैं सूची बनवा रहा था कि और किस किस से मिलूं. आप सबसे बात करना चाहता हूं. क्योंकि मुख्यमंत्री को हर विषय़ की जानकारी नहीं होती.'' शिवराज सिंह को अहसास हुआ कि उन्होंने खुद को सीएम कहकर संबोधित किया है. इस पर हंसते हुए उन्होंने आगे कहा, ''मुख्यमंत्री नहीं कृषि मंत्री. चार बार का सीएम रहा हूं. बीस-इक्कीस साल रहा हूं तो कुछ दिन तो लगेंगे भूलने में. वहां भी मुझे गुमान नहीं था कि हम ही सबकुछ जानते हैं.''


कार्यक्रम के दौरान शिवराज सिंह ने कहा, ''पीएम मोदी जी का विजन तथा मिशन कृषि के क्षेत्र को आगे बढ़ाना और किसान का कल्याण करना है. मैं जिस दिन से कृषि मंत्री बना हूं, तभी से दिन-रात यही सोच रहा हूं कि किसानों के जीवन को कैसे और बेहतर बनाएं.''






कृषि मंत्री के रूप में बताया अपना विजन
उन्होंने आगे कहा, ''हम मिलकर कोई ऐसा रोड मैप बना लें, जिसपर चलकर न केवल भारतीय कृषि और किसान का कल्याण हो सके बल्कि हम भारत को दुनिया का फूड बास्केट बना दें, दुनिया को अन्न खिलाएं, एक्सपोर्ट करें. हमें किसानों को विज्ञान से जोड़ना है और इसके लिए कृषि विज्ञान केंद्र बहुत उपयोगी है.


किसान और विज्ञान को जोड़ना चाहता हूं - शिवराज
केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह ने कहा, ''हमारे यहां 86% किसान स्मॉल मार्जिनल फार्मर हैं. हमको खेती का मॉडल ऐसा बनाना पड़ेगा कि किसान एक हेक्टेयर तक की खेती में अपनी आजीविका ठीक से चला सकें. कृषि के परिदृश्य को पूरी तरह से बदलना मेरी जिद है. मैं किसान और विज्ञान को जोड़ना चाहता हूं.''


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