Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) में शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) की सरकार ने भर्तीयों में संविदा कल्चर को खत्म करने की ओर कदम  बढ़ाया है. वर्तमान में यहां काम करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों को पद का 100 फीसदी वेतन दिया जाएगा. इससे काम करने वाले अफसरों और कर्मचारियों को 1000 रुपये से लेकर 7,200 रुपये तक का फायदा होगा. 


10 लाख तक की ग्रेच्यूटी मिलेगी
यहीं नहीं उनको रिटायरमेंट पर तीन लाख से 10 लाख तक की ग्रेच्यूटी भी मिलेगी. साथ ही अफसरों और कर्मचारियों को पांच लाख रुपये तक का मुफ्त इलाज और एनपीएस के तहत पेंशन का लाभ भी मिलेगा. ये सभी स्थायी कर्मचारियों की तरह ही होंगे. सरकार के 64 विभागों में अभी नियमित पदों के विरुध्द 70 से 80 फीसदी कर्मचारी संविदा पर हैं. इन कर्मचारियों को भी स्थायी कर्मचारियों के समान सुविधआएं मिलेंगी. 


कर्मचारियों को सालाना कॉन्ट्रैक्ट कल्चर से मुक्ति
बता दें शिवराज  सरकार ने प्रदेश के करीब डेढ़ लाख संविदा कर्मचारियों को सालाना कॉन्ट्रैक्ट कल्चर से मुक्ति दे दी है. सीएम शिवराज ने मंगलवार को भोपाल के मोतीलाल नेहरू स्टेडियम में संविदा कर्मचारियों के प्रांतीय सम्मेलन में कहा, ''मैं यह फैसला कर रहा हूं कि संविदा कर्मचारियों की प्रतिवर्ष अनुबंध की प्रक्रिया समाप्त की जाती है.'' सीएम ने कहा कि आपकी दृष्टि और कार्यकुशलता में नियमित कर्मचारियों बिल्कुल भी कम नहीं है. जरूरत पड़ने पर आपने नियमित कर्मचारियों से ज्यादा काम करके दिखाया है.


गौरगलब है कि मध्य प्रदेश में संविदा भर्तियों की शुरुआत 2015 में हुई थी. इसके लिए सरकार ने राजपत्र जारी किया था. इन्हें लाने की बड़ी वजह थी सरकार के खर्चे कम करना. संविदा पर भर्ती कर्मचारियों की नियुक्ति कॉन्ट्रैक्ट के अनुसार करने का प्रावधान है. इसमें कर्मचारी का सरकार के साथ कॉन्ट्रैक्ट होता है. 


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