Gita Press Controversy: गीता प्रेस पर विवाद के बीच CM शिवराज बोले- ये भारतीय संस्कृति और हमारे पूर्वजों के विचारों का सम्मान
Shivraj Singh Chouhan News: गीता प्रेस पर जारी विवाद के बीच मध्य प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान का बयान सामने आया है. गीता प्रेस को गांधी शांति पुरस्कार देने का फैसला किया गया है.
![Gita Press Controversy: गीता प्रेस पर विवाद के बीच CM शिवराज बोले- ये भारतीय संस्कृति और हमारे पूर्वजों के विचारों का सम्मान Shivraj Singh Chouhan statement on Gita Press Controversy in mp news Gandhi Peace Prize to Geeta Press Gita Press Controversy: गीता प्रेस पर विवाद के बीच CM शिवराज बोले- ये भारतीय संस्कृति और हमारे पूर्वजों के विचारों का सम्मान](https://feeds.abplive.com/onecms/images/uploaded-images/2023/06/19/cd8051e80810468991df6911d79402d11687187579837340_original.webp?impolicy=abp_cdn&imwidth=1200&height=675)
Bhopal: गोरखपुर स्थित गीता प्रेस को वर्ष 2021 का गांधी शांति पुरस्कार दिए जाने के केंद्र सरकार के फैसले पर मध्य प्रदेश के सीएम शिवराज सिंह चौहान ने बयान दिया है. उन्होंने केंद्र सरकार के इस फैसले पर खुशी जताई है और इसे लेकर ट्वीट कर उन्होंने बधाई दी है.
केंद्र सरकार ने गीता प्रेस को वर्ष 2021 का गांधी शांति पुरस्कार दिए जाने का निर्णय लिया है. इसे लेकर बयानबाजी का दौर शुरू हो गई है. केंद्र सरकार के इस फैसले पर कांग्रेस के महासचिव जयराम रमेश ने न केवल सवाल उठाए बल्कि उन्होंने कहा कि यह सावरकर और गोडसे को पुरस्कार देने के समान है. उनके इस बयान पर नरोत्तम मिश्रा ने पलटवार किया है.
सीएम शिवराज ने ट्वीट कर दी बधाई
सीएम शिवराज ने बधाई देते हुए ट्वीट किया ''भारतीय सनातन संस्कृति की जड़ों को सिंचित कर चरित्रवान युवाओं व सशक्त समाज का निर्माण करने वाली @GitaPress को गांधी शांति पुरस्कार 2021 से सम्मानित होने पर आत्मीय बधाई. गीता प्रेस को मिला यह सम्मान हमारी भारतीय सनातन संस्कृति, परम्पराओं और पूर्वजों के विचारों का सम्मान है.''
बता दें कि गीता प्रेस को पुरस्कार दिए जाने को लेकर कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश के बयान का पलटवार करते हुए मध्य प्रदेश के गृह मंत्री मिश्रा ने कहा है कि गीता प्रेस हमारे सनातन के साहित्य छापने का सबसे बड़ा केंद्र है.
उन्होंने कहा कि इसलिए कांग्रेस को आपत्ति हो सकती है, क्योंकि वह गीता और रामायण ही छापते हैं. यह इनकी पीड़ा हो सकती है. यह उनकी तुष्टिकरण है. उन्होंने सौ साल में कोई सम्मान लिया नहीं है. इसके बाद भी इनको आपत्ति है. यह देश सब समझता है कि इन्हें क्यों आपत्ति है.
इसे भी पढ़ें: Adipurush Controversy: MP में कांग्रेस भी आदिपुरुष के विरोध में उतरी, पीसी शर्मा ने की मनोज मुंतशिर को जेल भेजने की मांग
![IOI](https://cdn.abplive.com/images/IOA-countdown.png)
ट्रेंडिंग न्यूज
टॉप हेडलाइंस
![ABP Premium](https://cdn.abplive.com/imagebank/metaverse-mid.png)
![शंभू भद्र](https://feeds.abplive.com/onecms/images/author/fdff660856ace7ff9607d036f59e82bb.jpg?impolicy=abp_cdn&imwidth=70)