Ujjain News: जिस मावे को आप पौस्टिक समझकर सेवन कर रहे हैं, कहीं उसमें वनस्पति आदि की मिलावट तो नहीं है. उज्जैन में तो वनस्पति की मिलावट निकली है. इस मामले में व्यापारियों के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश जारी हो गए हैं. कलेक्टर आशीष सिंह के निर्देशन में मिलावट से मुक्ति अभियान अंतर्गत खाद्य सुरक्षा प्रशासन द्वारा सूचना के आधार पर 5 दिसंबर को नागदा रेलवे स्टेशन के बाहर वाहन संख्या एमपी 13 एल 3471, एमपी 07 एल 3771 को रोककर जांच की गई. मौके पर वाहन संख्या एमपी 13 एल 3471 में लगभग 1325 किलोग्राम मावा और वाहन संख्या एमपी 07 एल 3771 में लगभग 800 किलोग्राम मावा उन्हेल से नागदा ले जाया जा रहा था.


नमूनों में वनस्पति की मिलावट 
वाहन चालकों द्वारा बताया गया कि यह मावा उन्हेल के 13 व्यापारियों का है. मौके पर केवल व्यापारी रामबाबू लावरिया उपस्थित हुए, जिसकी 7 डलिया मावा ले जाई जा रही थी. वाहन चालकों द्वारा बताए गए नाम आर. के. गोपीलाल पटेल, विजय, एस (पी.एम.डी), एसडी भारत, व्ही.टी., रितेश बुपक्यिा, टोनी छाजेड़, प्रवीण, रितेश जैन, हार्दिक, सुरेश कुमार के उपस्थित न होने पर वाहन चालक की शिनाख्त पर मावा डलियों से कुल 13 मावा के नमूनें राज्य खाद्य प्रयोगशाला भेजे गये थे. भेजे गए नमूनों में से 9 नमूनों में मावा में वनस्पति की मिलावट की पुष्टि हुई है. कलेक्टर आशीष सिंह द्वारा मिलावटी मावा कारोबारियों पर नियमानुसार कड़ी कर्रवाई और लगातार जांच करने के निर्देश दिये गये है. 


मिलावटी मावा कर सकता है बीमार 
कलेक्टर आशीष सिंह ने बताया कि मिलावटी मावे के बारे में और जानकारी हासिल की जा रही है. इस मामले में कार्रवाई के निर्देश जारी कर दिए गए हैं. खाद्य अधिकारियों से जो रिपोर्ट मंगवाई है उसके मुताबिक मिलावटी मावे के सेवन से बीमारियां भी हो सकती थीं. उज्जैन जिले में मिलावटखोरों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जा रही है. इसी कड़ी में यह भी एक प्रमुख कार्रवाई है. 


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